नई दिल्ली। सरकार ने वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) रिटर्न के लिए नए फॉर्म जारी करने और इसको चरणबद्ध तरीके से लागू करने की घोषणा करते हुए कहा है कि जनवरी 2020 से सभी करदाताओं को नया फॉर्म जीएसटी आरईटी-1 भरना होगा।
वित्त मंत्रालय के सूत्रों ने मंगलवार को बताया कि इस वर्ष मई में ऑफलाइन टूल का प्रोटोटाइप जारी किया गया था और ऑफलाइन टूल ऑनलाइन टूल जैसा ही है। नए रिटर्न के मुख्यत: तीन भाग हैं जिसमें फाॅर्म जीएसटी आरईटी-1 मुख्य रिटर्न है तथा फॉर्म जीएसटी एएनएक्स-1 और फॉर्म एएनएक्स-2 अनेक्सचर हैं।
मंत्रालय ने कहा कि इस वर्ष जुलाई से करदाताओं को ऑफलाइन परीक्षण के आधार पर फॉर्म जीएसटी एएनएक्स-1 का उपयोग करते हुये रसीद अपलोड करना होगा। परीक्षण कार्यक्रम के तहत करदाता फाॅर्म जीएसटी एएनएक्स-2 का उपयोग कर खरीद रसीद को देख सकेंगे और उसे डाउनलोड कर सकेंगे।
खरीद से जुड़ी रसीदों को कॉमन पोर्टल पर ऑनलाइन देखा जा सकेगा। करदाता अपनी खरीद रजिस्टर को ऑफलाइन टूल पर ला सकेंगे और अगस्त 2019 से खरीद रसीद से उसका मिलान करा सकेंगे।
इस वर्ष जुलाई से सितंबर तक करदाताओं के परीक्षण के लिए नया रिटर्न सिस्टम उपलब्ध रहेगा जिसमें एएनएक्स-1 और एएनएक्स-2 शामिल हैं। इस परीक्षण का करदेय या इनपुट टैक्स क्रेडिट पर बैकएंड पर कोई असर नहीं पड़ेगा।
परीक्षण के दौरान करदाताओं को फॉर्म जीएसटीआर-1 और फॉर्म जीएसटीआर-3बी के जरिये कर अनुपालन करते रहना होगा और ऐसा नहीं करने पर जीएसटी कानून के तहत वैधानिक कार्रवाई की जाएगी।
अक्टूबर 2019 से फॉर्म जीएसटी एएनएक्स-1 आवश्यक हो जायेगा और फॉर्म जीएसटीआर-1 को हटा दिया जायेगा। पांच करोड़ रुपए से अधिक के वार्षिक कारोबार वाले करदाताओं को अक्टूबर 2019 से फॉर्म जीएसटी एएनएक्स-1 से मासिक रिटर्न भरना होगा।
पांच करोड़ रुपए से कम के वार्षिक कारोबार वाले छोटे कारोबारियों को अक्टूबर-दिसंबर 2019 तिमाही के लिए जनवरी 2020 में फॉर्म जीएसटी एएनएक्स-1 भरना होगा। बड़े और छोटे सभी करदाताओं को अक्टूबर 2019 से फॉर्म जीएसटी एएनएक्स-1 के जरिये रसीद अपलोड करना अनिवार्य होगा। इस दौरान फॉर्म जीएसटी एएनएक्स-2 उपलब्ध होगा, लेकिन इस पर कुछ भी करने की अनुमति नहीं होगी।
अक्टूबर और नवंबर 2019 के लिए बड़े करतदाओं को फॉर्म जीएसटीआर-3बी के जरिये मासिक रिटर्न भरना होगा। उन्हें 20 जनवरी 2020 तक दिसंबर 2019 के लिए पहला फॉर्म जीएसटी आरईटी-01 भरना होगा। छोटे करदाताओं को अक्टूबर 2019 से फॉर्म जीएसटीआर-3बी को भरना बंद करना होगा और इसके स्थान पर फॉर्म जीएसटी पीएमटी-08 भरना शुरू करना होगा।
छोटे करदाताओं को अक्टूबर-दिसंबर 2019 तिमाही के लिए जनवरी 2020 से पहला फॉर्म जीएसटी आरईटी-01 भरना होगा। इसके साथ ही फॉर्म जीएसटीआर-3बी पूरी तरह समाप्त हो जायेगी और सभी करदाताओं को फाॅर्म जीएसटी आरईटी-01 भरना होगा।