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आत्मसमर्पण कर चुके अनंत सिंह को ट्रांजिट रिमांड पर लाने की तैयारी - Sabguru News
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आत्मसमर्पण कर चुके अनंत सिंह को ट्रांजिट रिमांड पर लाने की तैयारी

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आत्मसमर्पण कर चुके अनंत सिंह को ट्रांजिट रिमांड पर लाने की तैयारी
Absconding Bihar MLA Anant Singh, charged under UAPA, surrenders before Delhi court
Absconding Bihar MLA Anant Singh, charged under UAPA, surrenders before Delhi court

पटना। बिहार के पटना जिले में बाढ़ अनुमंडल के लदमा गांव स्थित पैतृक आवास से प्रतिबंधित एके-47 राइफल एवं ग्रेनेड बरामदगी मामले में आज दिल्ली के साकेत कोर्ट में आत्मसमर्पण कर चुके मोकामा से निर्दलीय विधायक अनंत सिंह को पुलिस ट्रांजिट रिमांड पर बिहार लाने की तैयारी कर रही है।

पुलिस अधीक्षक (ग्रामीण) केके मिश्रा ने बताया कि विधायक सिंह के आत्मसमर्पण किए जाने के मामले में बिहार पुलिस दिल्ली पुलिस के साथ लगातार संपर्क बनाए हुए है। पुलिस सिंह को ट्रांजिट रिमांड पर लेकर पटना आएगी।

पटना पुलिस ने 16 अगस्त 2019 को विधायक के लगमा स्थित पैतृक आवास पर छापेमारी की थी। छापेमारी के दौरान उनके आवासीय परिसर से प्रतिबंधित एके-47 राइफल और दो हैंड ग्रेनेड बरामद किए गए थे। इस मामले में पुलिस ने लगमा स्थित उनके मकान के केयरटेकर सुनील राम को गिरफ्तार भी किया था। इसके बाद दूसरे दिन पुलिस जब विधायक के राजधानी पटना में एक माल रोड स्थित सरकारी आवास पर छापेमारी करने गई लेकिन तब तक सिंह फरार हो चुके थे।

पुलिस किसी भी कीमत पर सिंह को गिरफ्तार करने की कोशिश में लगी रही लेकिन उनकी भनक तक नहीं पा सकी। इस दौरान विधायक सिंह ने तीन बार वीडियो जारी कर कहा कि वह पुलिस के सामने कभी आत्मसमर्पण नहीं करेंगे। उन्होंने पुलिस पर साजिश रचने का आरोप लगाते हुए कहा था कि वह न्यायालय में ही आत्मसमर्पण करेंगे।

इस बीच पुलिस उन्हें गिरफ्तार करने के लिए कल पटना और बाढ़ न्यायालय परिसर के निकट पूरी मुस्तैदी से लगी रही लेकिन वह आत्मसमर्पण करने नहीं आए। इस बीच उन्होंने दिल्ली के साकेत न्यायालय में आज आत्मसमर्पण कर दिया।

विधायक की गिरफ्तारी के लिए इस वर्ष 20 अगस्त को लुकआउट नोटिस जारी की गई थी। पुलिस के आग्रह पर बाढ़ के अपर मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी कुमार माधवेंद्र की अदालत ने इस मामले में 20 अगस्त को ही विधायक सिंह के खिलाफ गिरफ्तारी का वारंट भी जारी कर दिया। वहीं, पुलिस उनके पटना स्थित सरकारी आवास के अलावा कई संभावित ठिकानों पर लगातार छापेमारी करती रही।

सिंह के सरकारी आवास पर पुलिस ने 17 अगस्त को छापेमारी की। इस दौरान सिंह तो फरार हो गये लेकिन अपराधी छोटन सिंह गिरफ्तार कर लिया गया। गिरफ्तार छोटन की पुलिस को गोलीबारी के एक मामले में लंबे समय से तलाश थी। छोटन के खिलाफ करीब हत्या के 22 मामले दर्ज हैं। विधायक सिंह एवं उनकी पत्नी नीलम सिंह के खिलाफ वांछित अपराधी को शरण देने के मामले में सचिवालय थाने में एक प्राथमिकी दर्ज की गई है।

प्रतिबंधित एके-47 राइफल और ग्रेनेड बरामद होने के मामले में पुलिस ने 16 अगस्त की देर रात विधायक सिंह के खिलाफ विधि विरुद्ध क्रियाकलाप निरोधक (संशोधन) अधिनियम के तहत मामला दर्ज किया है। इस संशोधन अधिनियम के तहत बिहार में होने वाली यह पहली कार्रवाई है।

पुलिस इस बिंदु पर जांच कर रही है कि बरामद की गई एके-47 राइफल मध्य प्रदेश के जबलपुर स्थित सेना के आयुध डीपो से चोरी हुई एके-47 राइफलों में से एक तो नहीं है। आयुध डीपो से एके-47 की चोरी के तार बिहार के मुंगेर जिले से जुड़ा है। पिछले दिनों मुंगेर में सिलसिलेवार ढंग से कई एके-47 राइफल बरामद की गई तथा इस मामले में कई लोगों को गिरफ्तार भी किया गया था।

गौरतलब है कि ‘छोटे सरकार’ के नाम से चर्चित अनंत सिंह लंबे समय तक जनता दल यूनाईटेड के साथ थे। पहली बार वह वर्ष 2005 में मोकामा से चुनाव जीतकर विधानसभा में पहुंचे। वर्ष 2015 में वह जदयू से अलग हो गए। फिलहाल वह मोकामा से ही निर्दलीय विधायक हैं। उनकी पत्नी नीलम देवी इस वर्ष संपन्न हुए लोकसभा का चुनाव मुंगेर से कांग्रेस की टिकट पर लड़ी थीं। उस चुनाव में उन्हें जदयू के ललन सिंह ने पराजित किया था।

सिंह पर पटना जिले के अलग-अलग थाने में पहले से हत्या, लूट, अपहरण, बलात्कार, फिरौती के कई मामले दर्ज हैं। सिंह ने कुख्यात की हत्या की सुपारी देने के वायरल हुए ऑडियो मामले में 1 अगस्त 2019 को विधि विज्ञान प्रयोगशाला में अपनी आवाज का नमूना दिया है। प्रयोगशाला में उनकी आवाज के नमूने की जांच की जा रही है।

इस दौरान विधायक ने कहा था कि जिस भोला सिंह की हत्या की साजिश रचने की बात कही जा रही है वह खुद 50 हजार रुपए का इनामी है। उन्होंने आरोप लगाते हुए कहा था कि राज्य सरकार ने जिस भोला सिंह को कुख्यात घोषित किया आज वही सरकार का खास बना हुआ है।

कुख्यात की हत्या की सुपारी देने के वायरल हुए ऑडिया मामले में सिंह की आवाज के नमूने की जांच कराने के लिए जारी नोटिस लेकर पंडारक पुलिस 29 जुलाई 2019 को उनके पटना स्थित सरकारी आवास पर पहुंची थी। सिंह तो आवास पर नहीं मिले लेकिन वहां उपस्थित लोगों ने नोटिस लेने से इनकार कर दिया। इसके बाद पुलिस ने उनके आवास के बाहर दीवार पर नोटिस चस्पा कर दिया था।

इससे पूर्व जून 2015 में बाढ़ के पुटुस हत्याकांड को लेकर विवादों में आए सिंह की गिरफ्तारी के बाद एक-एक कर उनके खिलाफ सभी पुराने मामले खुलते चले गए। इस मामले में वह बेउर जेल में भी बंद रहे। जदयू ने भी उन्हें पार्टी से निकाल भी दिया। इस दौरान बिहार के गृह विभाग ने सितंबर 2016 में उनके खिलाफ अपराध नियंत्रण कानून (सीसीए) लगाने की भी अनुमति दी थी।