अजमेर। राजस्थान के अजमेर में नॉर्थ वेस्टर्न रेलवे एम्प्लाइज यूनियन की ओर से रेलवे को निजीकरण की ओर धकेलने के विरोध में शुक्रवार को प्रदर्शन किया गया।
यूनियन के मंडल अध्यक्ष मोहन चेलानी के नेतृत्व में रेलवे के लोको एवं कैरिज कारखानों के बड़ी संख्या कर्मचारी कारखाने के बाहर गेट पर एकत्रित हुए और सरकार विरोधी नारे लगाते हुए भारतीय रेल को निजी हाथों में सौंपे जाने की पहल का जमकर विरोध किया। चेलानी ने बताया कि यह विरोध प्रदर्शन भारतीय रेल के अस्तित्व का सवाल है क्योंकि केंद्र सरकार ने भारतीय रेल को निजी हाथों में सौंपने की ओर कदम बढ़ा दिया है।
उन्होंने कहा कि जिस रेल को रेलवे के कर्मचारियों ने योग्यता के साथ ऊंचे मुकाम पर पहुंचाया, उसे निजी हाथों में जाने से रोकने के लिए अब राष्ट्रव्यापी आंदोलन चलाया जाएगा। ऑल इंडिया रेलवे मैन्स फेडरेशन के मार्गदर्शन पर विरोध, हड़ताल, धरना प्रदर्शन और यदि आवश्यकता पड़ी तो रेल के चक्के जाम जैसे फैसले भी लिए जाएंगे।
उन्होंने कहा कि यह कतई बर्दाश्त नहीं किया जाएगा कि रेलवे की आधारभूत संरचना यथा रेलवे का ट्रैक बनाना, रेलवे के डिब्बे बनाना, इंजनों का निर्माण करना, इन सबकी देखभाल करने में रेल का कर्मचारी पसीना बहावे और पूंजीपति आकर उस पर कमाई करें।
यूनियन के महामंत्री मुकेश माथुर के अनुसार निजी संस्थान आईआरसीटीसी के माध्यम से निजी ट्रेनों का संचालन शुरू कर दिया गया है जिसके विरोध में प्रदेश के 19 स्टेशनों पर विरोध प्रदर्शन आयोजित किया गया। अजमेर मंडल में रेलवे के लोको पायलट एवं गार्ड ने भी आज के दिन को ‘काला दिवस’ के रूप में मनाया। उन्होंने काली पट्टी बांधकर ड्यूटी को अंजाम दिया।
गौरतलब है कि भारतीय रेल की ओर से आज से लखनऊ-नई दिल्ली के बीच तेजस एक्सप्रेस का शुभारंभ किया गया। आईआरसीटीसी एक निजी संस्थान है जिसने उक्त ट्रेन संचालन का जिम्मा लिया है। उत्तरप्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने तेजस ट्रेन को लखनऊ से हरी झंडी दिखाकर नई दिल्ली के लिए रवाना किया।