जयपुर। राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने महिला सशक्तीकरण एवं खेल पर आधारित फिल्म ‘सांड की आंख’ को राज्य के मल्टीप्लैक्स तथा सिनेमाघरों में प्रदर्शन पर लगने वाले राज्य माल एवं सेवा कर से छूट प्रदान करने के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है।
यह फिल्म ग्रामीण परिवेश की दो महिलाओं के जज्बे और उनके संघर्ष की कहानी पर आधारित है। इसमें बताया गया है कि कैसे उत्तरप्रदेश के बागपत जिले के जौहरी गांव की दो वृद्ध महिलाएं चन्द्रो तोमर (86) तथा प्रकाशी तोमर (81) निशानेबाजी सीखती हैं, गांव की बालिकाओं में आत्मविश्वास जगाती हैं और उन्हें खेलों को अपनाने के लिए प्रेरित करती है। यह फिल्म नारी सशक्तीकरण और सामाजिक मानसिकता में बदलाव का चित्रण करती है।
उल्लेखनीय है कि राज्य सरकार ने इससे पहले गरीब पृष्ठभूमि के मेधावी विद्यार्थियों को आईआईटी की परीक्षा के लिए निःशुल्क कोचिंग देकर उनके भविष्य निर्माण पर आधारित फिल्म ‘सुपर-30’ और महिलाओं में हाईजीन को बढ़ावा देने वाली फिल्म ‘पेडमैन’ को भी मल्टीप्लैक्स एवं सिनेमाघरों में प्रदर्शन के लिए राज्य माल एवं सेवा कर से मुक्त किया था।