लखनऊ। नोएडा के बाद उत्तर प्रदेश के मेरठ में कोरोना पीड़िताें की बढ़ती तादाद योगी सरकार के लिए चिंता का सबब बनी हुई है। राज्य में पिछले 24 घंटे के दौरान 17 नए मामलों में पश्चिमांचल के इस जिले के आठ मरीज शामिल हैं जिसके साथ ही अब तक 82 कोरोना संक्रमितों की पहचान की जा चुकी है।
आधिकारिक सूत्रों ने सोमवार को बताया कि मेरठ में रविवार की रात तक आठ मरीजों की पहचान की जा चुकी थी जबकि आज भी यहां कोरोना संक्रमित मरीजों की संख्या बढ़ने की आशंका है वहीं नोएडा में पांच,गाजियाबाद में दो और बरेली एवं आगरा में एक एक मरीज कोरोना पाजीटिव पाया गया है।
नोएडा में राज्य में सबसे ज्यादा 32 कोरोना पाजीटिव मरीजों की पहचान की गई है जिनमें एक कंपनी में कार्यरत मरीजों की तादाद सबसे ज्यादा है। इस कंपनी का आडीटर इंग्लैंड गया था जो वहां कोरोना वायरस से संक्रमित हो गया और उसके संपर्क में आने वाले कर्मचारी भी जानलेवा संक्रमण की चपेट में आ गए।
राज्य सरकार ने नोएडा में वायरस के बढ़ते प्रभाव को गंभीरता से लेते हुए लखनऊ से एक वरिष्ठ स्वास्थ्य अधिकारी को वहां भेजा है। इसके अलावा नोएडा में लाकडाउन और संदिग्धों को क्वारांटाइन का कड़ाई से पालन कराने के लिए रैपिड एक्शन फोर्स और पीएसी की एक टुकड़ी को तैनात किया गया है।
सूत्रों ने बताया कि मेरठ में संक्रमित सभी 13 मरीज बुलंदशहर के निवासी रिश्तेदार के संपर्क में आए थे जो वायरस के प्रसार की वजह माना जा रहा है। गाजियाबाद में दो नए मामले मिलने से दहशत का माहौल है। जिस सोसाइटी में ये मरीज मिले है, वहां के निवासी 76 लोगों में से 21 में कोविड-19 के लक्षण मिलने से उन्हे आइसोलेशन वार्ड में भर्ती कराया गया है जबकि 55 को होम क्वारांटाइन किया गया है।
इस बीच राज्य में अब तक मिले 82 कोरोना पाजीटिव में आगरा के 11,गाजियाबाद के सात, नोएडा के 32, मेरठ के 13, लखनऊ के आठ, वाराणसी और पीलीभीत के दो दो मरीज शामिल हैं। इनके अलावा लखीमपुर खीरी, मुरादाबाद, कानपुर, जौनपुर, शामली, बागपत और बरेली का एक एक मरीज कोरोना संक्रमित पाया गया है। इनमे से 14 मरीज पूरी तरह स्वस्थ होकर घर वापस हो चुके हैं। सूत्रों ने बताया कि इसके अलावा राज्य के अलग अलग अस्पतालों में 179 संदिग्धाें को भर्ती कराया गया है।