Warning: Constant WP_MEMORY_LIMIT already defined in /www/wwwroot/sabguru/sabguru.com/18-22/wp-config.php on line 46
भाई-भतीजावाद मामला : केरल के मंत्री के. टी. जलील ने दिया इस्तीफा - Sabguru News
होम Breaking भाई-भतीजावाद मामला : केरल के मंत्री के. टी. जलील ने दिया इस्तीफा

भाई-भतीजावाद मामला : केरल के मंत्री के. टी. जलील ने दिया इस्तीफा

0
भाई-भतीजावाद मामला : केरल के मंत्री के. टी. जलील ने दिया इस्तीफा
Kerala Haj and Wakf Minister K.T. Jaleel resigns
Kerala Haj and Wakf Minister K.T. Jaleel resigns
Kerala Haj and Wakf Minister K.T. Jaleel resigns

तिरुवनंतपुरम। केरल के उच्च शिक्षा, अल्पसंख्यक कल्याण, हज एवं वक्फ मंत्री के. टी. जलील ने मंगलवार को अपने पद से इस्तीफा दे दिया।

लोकायुक्त जांच में पता चला था कि जलील ने पद की शपथ का उल्लंघन किया था और भाई-भतीजावाद में लिप्त थे। इस जांच के नतीजे आने के बाद उन्होंने इस्तीफा दे दिया।

लोकायुक्त ने गत 09 अप्रैल को अपने फैसले में कहा था कि अपने रिश्तेदार के. टी. अदीब को केरल राज्य अल्पसंख्यक विकास वित्त निगम लिमिटेड में नियुक्ति के मामले में जलील दोषी पाए गए हैं। लोकायुक्त साइरस जोसेफ और उप लोकायुक्त हारून उल रशीद ने कहा था कि उन्होंने मंत्री पद की शपथ का उल्लंघन करते हुए पक्षपात किया और अपने संबंधी को फायदा पहुंचाने के लिए योग्यता शर्तों से छेड़छाड़ की।

लोकायुक्त की रिपोर्ट के अनुसार जलील के रिश्तेदार को फायदा पहुंचाने के लिए योग्यता शर्तों में ढील देने की अधिसूचना जारी की गयी थी। इस अधिसूचना को जारी करने में मंत्री स्वयं संलिप्त थे। इससे पहले लोकायुक्त ने मुख्यमंत्री पी. विजयन को अपनी रिपोर्ट सौंपकर मंत्री को हटाने की अनुशंसा की थी।

जलील हालांकि पहले ही लोकायुक्त की उस रिपोर्ट को उच्च न्यायालय में चुनौती दे चुके हैं जिसमें उन्हें पक्षपात का दोषी बताकर बर्खास्त करने की अनुशंसा की गयी थी। उन्होंने दावा किया है कि लोकायुक्त ने जिस मामले में यह फैसला दिया है, उस मामले को केरल उच्च न्यायालय तथा राज्य के पूर्व राज्यपाल पी. सदाशिवम द्वारा पहले ही खारिज किया जा चुका है। इसके बावजूद उन्होंने उच्च न्यायालय में नयी याचिका दायर करने के तुरंत बाद इस्तीफा दे दिया। जलील द्वारा मुख्यमंत्री को सौंपा गया इस्तीफा राज्यपाल आरिफ मोहम्मद खान को भेज दिया गया है।

जलील पहली बार 2006 में एलडीएफ प्रत्याशी को हराकर कुट्टीप्पुरम विधानसभा क्षेत्र से निर्दलीय जीते थे। इसके बाद 2011 और 2016 में थवनूर विधानसभा क्षेत्र से कांग्रेस प्रत्याशी को हराकर विधानसभा पहुंचे।

इससे पहले उन पर सोना तस्करी के विवादास्पद मामले में संलिप्तता के आरोप भी लगे थे। यह मामला किसी राजनयिक के सामानों के बीच छुपाकर सोना तस्करी से संबंधित था। इस मामले में प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) तथा राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) ने उनसे पूछताछ भी की थी।