अयोध्या। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अफगानिस्तान के काबुल से लाया गया जल रविवार को रामलला को अर्पित किया।
मुख्यमंत्री ने रविवार को यहां श्रीरामलला का दर्शन-पूजन किया तथा गर्भगृह का भी अवलोकन किया तथा श्रीराम को काबुल से लाए गए जल को अर्पित किया। उन्होंने कहा कि आतंकवाद से जूझ रहे अफगानिस्तान की एक बच्ची ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को भगवान राम को अर्पित करने के लिए काबुल नदी का जल भेजा था।
प्रधानमंत्री ने उनसे कहा कि रामलला के जन्मस्थान गर्भगृह में पवित्र जल अर्पित करें। यह जल अफगानिस्तान की सभी बेटियों की तरफ से प्रेषित जल है तथा सभी को इसकी भावना का सम्मान करते हुए मानवता की रक्षा के लिए आगे आना चाहिए। भगवान राम हमेशा ही मानवता की रक्षा करने के लिये आगे आए हैं।
योगी ने कहा कि अयोध्या का अफगानिस्तान से गहरा संबंध है। अयोध्या के महाराजा दशरथ की एक महारानी कैकेयी अफगानिस्तान की रहने वाली हैं। कैकेय का राज्य गंधार से सम्बन्ध था जिनके पिता अश्वपति का अनेक जगहों पर उल्लेख मिलता है।
रामकथा पार्क में रामायण कान्क्लेव का समापन करते हुए उन्होंने कहा कि भगवान राम सबके हैं और सभी के राम हैं और तभी हमारा भारत राममय है। इसी परम्परा को आगे बढ़ाते हुए मैं इस कान्क्लेव का समापन कर रहा हूं। यह कान्क्लेव 16 जिलों में विभिन्न थीमों पर शुरू हुआ था। इसमें आम जनमानस ने नई पीढ़ी में राम के प्रति तथा राम के चरित्र को आम लोगों के प्रति बताने के उद्देश्य से किया गया था।
योगी ने कहा कि तीन नवम्बर को होने वाले पंचम दीपोत्सव के तैयारी की समीक्षा करने वह आए हैं। इसके साथ ही वह अयोध्या के पूज्य संतों का आशीष भी लेने आए हैं। मुख्यमंत्री ने कार्यक्रम में अयोध्या शोध संस्थान द्वारा प्रकाशित पुस्तक का विमोचन भी किया। इस अवसर पर प्रदेश के पर्यटन एवं संस्कृत मंत्री एवं जिले के प्रभारी मंत्री डा. नीलकंठ तिवारी ने रामायण कान्क्लेव पर प्रकाश डाला।