मुंबई। भारतीय जनता पार्टी के वरिष्ठ नेता एवं महाराष्ट्र के पूर्वमुख्यमंत्री देवेंद्र फडनवीस ने शुक्रवार को पार्टी के 10 सेअधिक विधायकों के एक साल के निलंबन को रद्द करने के उच्चतम न्यायालय के फैसले को ‘ऐतिहासिक’ करार दिया।
फडनवीस ने ट्वीट किया कि सत्यमेव जयते, मानसून सत्र के दौरान विधानसभा में ओबीसी के लिए लड़ रहे हमारे 12 विधायकों के निलंबन को रद्द करने के ऐतिहासिक फैसले के लिए हम उच्चतम न्यायालय के फैसल का स्वागत करते हैं।
उन्होंने आगे कहा कि अदालत का यह निर्णय लोकतांत्रिक मूल्यों को बचाएगा और असंवैधानिक, अनैतिक, अनुचित, अवैध और अलोकतांत्रिक कार्रवाई के लिए महा विकास अघाड़ी सरकार के चेहरे पर एक और कड़ा तमाचा है।
भाजपा के एक निलंबित सदस्य गिरीश महाजन ने कहा कि फैसला एमवीए को एक तमाचा है। निलंबन, सरकार द्वारा प्रतिशोध का कार्य था। वे हमें अध्यक्ष पद के लिए होने वाले चुनाव से दूर रखना चाहते थे।
उन्हाेंने कहा कि हमें एक साल के लिए विधानसभा से बाहर रखने का यह आदेश, जिसका मतलब है कि हम अपने निर्वाचन क्षेत्र को प्रभावित करने वाले मुद्दों को नहीं उठा सकते। वे हमें एक सत्र के लिए निलंबित कर सकते थे। उच्चतम न्यायालय का फैसला निष्पक्ष है।
इस बीच, महाराष्ट्र के अल्पसंख्यक मामलों के मंत्री नवाब मलिक ने कहा किहम अगले कदम पर फैसला करने से पहले उच्चतम न्यायालय के फैसले के विस्तृत आदेश की प्रतीक्षा कर रहे हैं। विधानसभा अध्यक्ष द्वारा विधायिका के अधिकारों का अध्ययन करने के बाद अंतिम निर्णय लिया जाएगा।
भाजपा के 12 विधायकों के निलंबन को रद्द करने के कोर्ट के फैसले का स्वागत करते हुए भाजपा के महाराष्ट्र प्रदेश अध्यक्ष चंद्रकांत पाटिल ने शुक्रवार को कहा कि राज्य सरकार के नेता सत्ता की शक्ति मिलने से उनका ऐसा व्यवहार हो गया कि ‘हम करें सो कायदा’ है लेकिन अब उद्धव ठाकरे नीत महा विकास अघाड़ी (एमवीए) सरकार को झटका लगा है।
दिवंगत प्रगतिशील नेता एनडी पाटिल के निवास के सामने पाटिल ने संवाददाताओं से कहा कि शीर्ष न्यायालय ने अपने फैसले पर कहा कि यदि कोई सरकार इस तरह की मनमानी करेगी तो यह लोकतंत्र के लिए खतरा होगा और आज का फैसला अन्य राज्य सरकारों के लिए भी चेतावनी होगी। उन्होंने कहा कि उन्हें विश्वास था कि उच्चतम न्यायालय से इन बारह विधायकों को न्याय मिलेगा, जिन्हें पिछले साल राज्य विधानसभा ने निलंबित कर दिया था।
पाटिल ने कहा कि शीर्ष अदालत ने यह भी विचार व्यक्त किया है कि भाजपा के बारह विधायकों के निलंबन का निर्णय असंवैधानिक था। उन्होंने कहा कि कृत्रिम बहुमत पर देश के संविधान की अवहेलना करने का एमवीए सरकार का प्रयास असफल रहा और सरकार को आज झटका लगा।
पाटिल ने सुपर मार्केट में शराब बेचने की अनुमति देने के एमवीए सरकार के निर्णय पर सवाल किया कि क्या सरकार किसानों के बच्चों को शराब पीने की आदत डालने की कोशिश कर रही है और अगर सरकार किसानों को न्याय देना चाहती है तो सरकार को किसानों के फल उत्पादन का उचित मूल्य देना चाहिए।
महाराष्ट्र के 12 भाजपा विधायकों का निलंबन असंवैधानिक : सुप्रीम कोर्ट