श्रीनगर। नए मतदाताओं को शामिल करने पर हुए हंगामे के बीच जम्मू कश्मीर सरकार ने शनिवार को स्पष्ट किया है कि केन्द्र शासित प्रदेश की मतदाता सूची में संशोधन कर अनुमानित 25 लाख नए मतदाताओं को जोड़ने में वे लोग शामिल है जिनकी उम्र एक अक्टूबर 2022 को 18 साल पूरी होगी।
मुख्य चुनाव अधिकारी हृदेश कुमार ने बुधवार को कहा कि देश का प्रत्येक नागरिक जो जम्मू कश्मीर में रह रहा है धारा 370 के हटने के बाद आगामी विधानसभा चुनावों में मतदान करेगा। इसके बाद जम्मू कश्मीर में भारी राजनीतिक विवाद पैदा हो गया।
कश्मीर के मुख्यधारा के दलों ने आरोप लगाया कि इन नए गैर स्थानीय मतदाताओं से भारतीय जनता पार्टी को फायदा पहुंचाने का लक्ष्य है। नेशनल कांफ्रेस के अध्यक्ष फारुक अब्दुल्ला ने सोमवार को इस मुद्दे पर आगामी रणनीति पर चर्चा करने के लिए एक सर्वदलीय बैठक बुलाई है।
जम्मू कश्मीर के सूचना एवं जनसम्पर्क निदेशालय (डीआईपीआर) ने शनिवार को कहा कि इन मतदाता की गलत व्याखा की गई है और इसे स्वार्थी लोगों द्वारा फैलाया जा रहा है। डीआईपीआर ने कहा कि मतदाता सूची में कश्मीरी प्रवासियों के उनके विशेष प्रावधानों में कोई बदलाव नहीं किया गया है। उन्हें जम्मू , उधमपुर और दिल्ली आदि स्थानों पर विशेष रुप से स्थापित मतदान केन्द्रों के माध्यम से मतदान का विकल्प दिया जाता रहेगा।