सिरोही। दशहरा कार्यक्रम के कार्ड और नाम नहीं आने को लेकर भड़के पार्षदों के नाम के होर्डिंग लगाकर नगर परिषद प्रशासन ने मामला शांत किया ही था कि दशहरा कार्यक्रम में ही मंच से नाम नहीं पुकारने पर भाजपा पार्षद भड़क गए। इसे अपना अपमान मानते हुए गुरुवार को भाजपा पार्षदों ने आयुक्त के चेम्बर में अपना प्रतिरोध जताया।
दशहरे के कार्यक़म में अतिथियों के स्वागत के लिए पार्षदों को बुलवाया जा रहा था। इस दौरान भाजपा के पार्षदों का नाम नहीं पुकारा गया। इसे इन्होंने अपना अपमान माना। इसे लेकर सुबह आयुक्त के कार्यालय पहुंचे। उन्होंने नगर परिषद के कार्यक्रम में भाजपा पार्षदों का नाम नहीं लेने को उन्हें चुनने वाले लोगों का अपमान बताया।
इस दौरान उन्होंने कहा कि नगर परिषद के पार्षदों को पीछे बैठाया और समुचित व्यवस्था नहीं की। गोपाल माली ने रावण दहन समिति का गठन नहीं करके पुतलों और आतिशबाजी में घोटाले का आरोप लगाया।
नेता प्रतिपक्ष मगन मीणा का दर्द कुछ यूं छलका कि उन्होंने आयुक्त को कहा कि वो भाजपा पार्षदों के कामों का ध्यान नहीं रखते उनका अपमान करते हैं जिससे ये लोग बार बार उनसे नेता प्रतिपक्ष के पद से इस्तीफे की मांग करते रहते हैं। उन्होंने रावण दहन में पुतलों का निरीक्षण करने जाने वाले पार्षद जितेंद्र सिंघी और इश्वर सिंह डाबी के गैर जिम्मेदार रवैये पर भी निशाना साधा।
इस दौरान प्रवीण राठौड़ के ये कहने पर कि दशहरा में हुए व्यवहार को लेकर माफी नहीं मांगने और नगर परिषद की कार्यप्रणाली नहीं सुधारने तक विरोध करने मे कहने पर आयुक्त ने कहा कि इसमें नया क्या करोगे, आप तो सुबह आंख खोलते ही भगवान में नाम की जगह नंबर परिषद के विरोध शुरू करते हो।
आयुक्त ने बताया कि इसमें उनका कोई रोल नहीं है। उनका कहना था कि सूची में मणिदेवी और गीता पुरोहित का नाम था। लेकिन, हो सकता है कि एंकर से नाम चूक गए हैं। उन्होंने कहा कि कोई भी कार्यक्रम वो नहीं तय कर सकते। बोर्ड से अधिकृत सभापति के निर्देश पर ही वो काम करते हैं। उनके आगे से कार्यक्रम को खुद देखने और किसी कार्यक्रम में इस तरह की पुनरावृत्ति नहीं होने देने की बात कहने पर विवाद थमा।
इन कामों में लगाये भ्रष्टाचार के आरोप
भाजपा पार्षद गोविंद माली ने नगर परिषद पर आरोप लगाया कि वो हर साल लाखों रुपए का डीडीटी पाउडर खरीद का खर्च दिखाती है। लेकिन, इसका इस्तेमाल नहीं करती। उन्होंने इसमे भ्रष्टाचार का आरोप लगाया। अरुण ओझा, मणि देवी, गीता पुरोहित ने शहर की सफाई व्यावस्था बदला होने पर गुस्सा जताया। उनका आरोप था कि सफाई ठेके पर 32 लाख रुपए महीने खर्च किए जा रहे हैं। लेकिन, सफाई कहीं दिखती नहीं है।
उन्होंने सफाई समिति के अध्यक्ष पर इसमें भ्रष्टाचार का आरोप लगाया। समिति की सदस्य मणिबेन ने आरोप लगाया कि सफाई समिति की बैठक बुलाए बिना ही सारे निर्णय किए जा रहे हैं। इस दौरान मगन मीना ने चेतावनी ढ़ी कि यदि नगर पालिका ने व्यवस्था दुरुस्त नहीं की तो भाजपा बोर्ड इस बोर्ड के खिलाफ आंदोलन करेगी, उन्होंने कहा कि वैसे ही ‘दाढ़ी वाला’ उन्हें गुंडा कहता है आप भी कह लेना।