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कर्मचारियों की सेवानिवृत्ति की आयु 60 से बढ़ाकर 62 वर्ष-हिंदी समाचार
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कर्मचारियों की सेवानिवृत्ति की आयु 60 से बढ़ाकर 62 वर्ष

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कर्मचारियों की सेवानिवृत्ति की आयु 60 से बढ़ाकर 62 वर्ष
Age of retirement of employees increased from 60 to 62 years
Age of retirement of employees increased from 60 to 62 years
Age of retirement of employees increased from 60 to 62 years

जबलपुर । मध्यप्रदेश उच्च न्यायालय ने 60 वर्ष की आयु में हो रही सेवानिवृत्ति को चुनौती देने वाले मामले में बाणसागर परियोजना के एक तृतीय श्रेणी कर्मचारी की अंडरटेकिंग के मद्देनजर उन्हें 62 वर्ष तक सेवाएं जारी रखने की अंतरिम राहत प्रदान की है।

वहीं, सेवानिवृत्ति संबंधी एक अन्य मामले में रानी दुर्गावती विश्वविद्यालय के कुलसचिव को फिलहाल किसी प्रकार की राहत नहीं मिली है। तृतीय श्रेणी कर्मचारी वाले मामले में न्यायाधीश वंदना कसरेकर की एकलपीठ ने कल यह निर्देश आवेदक की उस अंडरटेकिंग पर दी है, जिसमें कहा गया है कि उनकी सेवानिवृत्ति बढ़ाने संबंधी मामला यदि सरकार द्वारा अमान्य किया जाता है तो उन्हें भुगतान होने वाली राशि की रिकवरी की जा सकती है।

यह मामला बाणसागर में पदस्थ राजेन्द्र कुमार शुक्ला की ओर से दायर किया गया था। इसमें 60 वर्ष की आयु में 31 जुलाई को होने वाली सेवानिवृत्ति को चुनौती दी गई थी। आवेदक का कहना था कि शासन ने शासकीय सेवकों की सेवानिवृत्ति की आयु 60 से बढ़ाकर 62 वर्ष कर दी है, ऐसे में उन्हें 60 वर्ष में सेवानिवृत किया जाना अनुचित है।

वहीं, मामले में सरकार की ओर से जारी सर्कुलर पेश कर कहा गया कि 62 वर्ष की सेवानिवृत्ति चतुर्थ श्रेणी शासकीय सेवकों के लिए है और तृतीय श्रेणी कर्मचारी सेवानिवृत्ति आयु अभी 60 ही है। आवेदक की ओर से कहा गया कि तृतीय श्रेणी शासकीय सेवकों की सेवानिवृत्ति बढ़ाने संबंधी मामला लंबित है। उनकी सेवानिवृत्ति संबंधी मामले के निराकरण होने तक 62 वर्ष की सेवाएं पूर्ण करने दी जाए, यदि उनके पक्ष में राहतकारी आदेश नहीं होता तो शासन उनसे किए गए भुगतान की रिकवरी कर सकता है।

एक अन्य मामले में रानी दुर्गावती विश्वविद्यालय के कुलसचिव डॉ बलराम भारती को 31 जुलाई को 60 वर्ष की उम्र में सेवानिवृत किए जाने को चुनौती देने वाले मामले में न्यायाधीश वंदना कसरेकर की एकलपीठ ने किसी प्रकार की अंतरिम राहत नहीं दी है। वहीं विवि प्रशासन ने कल देर शाम कुलसचिव के सेवानिवृत्ति के आदेश जारी कर दिए।

यह मामला डॉ भारती ने 60 वर्ष की आयु में दी जा रही सेवानिवृत्ति को चुनौती देते हुए दायर किया था। आवेदक का कहना था कि शासन ने शासकीय सेवकों की सेवानिवृत्ति आयु 62 वर्ष कर दी है और उनके 62 वर्ष होने में अभी दो वर्ष का समय है। इस मामले में राहत चाही गई थी कि उनकी मंगलवार को होेने वाली सेवानिवृत्ति पर रोक लगायी जाए। न्यायालय ने मामले में किसी प्रकार की अंतरिम राहत न देते हुए मामले की सुनवाई चार सप्ताह के लिए बढ़ा दी है।