Warning: Constant WP_MEMORY_LIMIT already defined in /www/wwwroot/sabguru/sabguru.com/18-22/wp-config.php on line 46
संवेदनहीन है योगी आदित्यनाथ सरकार : अखिलेश यादव
होम Headlines संवेदनहीन है योगी आदित्यनाथ सरकार : अखिलेश यादव

संवेदनहीन है योगी आदित्यनाथ सरकार : अखिलेश यादव

0
संवेदनहीन है योगी आदित्यनाथ सरकार : अखिलेश यादव
Akhilesh Yadav targets Yogi Adityanath over storm deaths
Akhilesh Yadav targets Yogi Adityanath over storm deaths
Akhilesh Yadav targets Yogi Adityanath over storm deaths

लखनऊ। समाजवादी पार्टी अध्यक्ष अखिलेश यादव ने कहा कि प्राकृतिक आपदा से थर्राये उत्तर प्रदेश के बाशिंदो का दर्द साझा करने और उन्हे राहत दिलाने के बजाय मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का कर्नाटक विधानसभा चुनाव के प्रचार में व्यस्त रहना संवेदनहीनता की पराकाष्ठा है।

यादव ने यहां जारी बयान में कहा कि बुधवार को आए आंधी-तूफान ने आगरा सहित प्रदेश के विभिन्न क्षेत्रों में भारी तबाही मचाई है। जनधन की भीषण क्षति हुई है। ऐसी भयंकर प्राकृतिक आपदा में भाजपा सरकार और मुख्यमंत्री का आचरण संवेदनशून्यता की पराकाष्ठा ही कहा जाएगा।

जब उन्हें राजधानी में रहकर इस विपत्ति से बचाव और राहत के कामों को सुनिश्चित करना था तब मुख्यमंत्री कर्नाटक के चुनाव प्रचार में लगे हुए हैं। लोग हैरत में है कि उनकी प्राथमिकता में उत्तर प्रदेश है या कर्नाटक।

उन्होने कहा कि भाजपा सरकार आपदा प्रबंधन के मामले में पूरी तरह विफल साबित हुई है। आंधी तूफान ग्रस्त इलाकों में बचाव और राहत के कामों के समय से शुरू न होने से लोगों के जो कष्ट बढ़े उस पर शासन-प्रशासन का कोई ध्यान नहीं है।

जनधन की क्षति के सरकारी विवरण भी संदिग्ध हैं। अभी भी मौसम विभाग पुनः संकट आने के बारे में चेतावनी दे रहा हैं। ऐसे में भाजपा सरकार केवल निर्देश जारी करके अपने कर्तव्य की इतिश्री नहीं समझ सकती है।

यादव ने कहा कि भाजपा को न तो प्रदेश के विकास की चिंता है और नहीं नागरिकों की सुरक्षा को वह वरीयता देती है। भाजपा सरकार प्रदेश में अपनी साख गंवाकर भी 2019 के चुनावी माहौल को गरमाए रखने में समय बर्बाद कर रही हैं।

भाजपा का मंत्रिमण्डल गांवों में चौपाल लगाकर और दलितों के घर होटलों का खाना मंगवाकर सहभोज का नाटक रचने में लगा हैं। सांप्रदायिक मुद्दों को उछालने के पीछे भाजपा का उद्देश्य ध्रुवीकरण की राजनीति को बढ़ावा देना है।