सिरसा। हरियाणा में विभिन्न मांगों को लेकर आशा वर्कर्स यूनियन का संघर्ष जारी है। सिरसा में सोमवार को आशा वर्कर्स लघु सचिवालय से प्रदर्शन करते हुए उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला के आवास पहुंची। इस दौरान उन्होंने खूब नारेबाजी की।
डिप्टी सीएम की अनुपस्थिति में प्रतिनिधि ज्ञापन लेने के लिए आए, लेकिन कार्यकर्ता डिप्टी सीएम को ज्ञापन देने की मांग पर अड़ी रही। समझाने के बाद आदोंलनरत्त आशा वर्कर्स एसडीएम को ज्ञापन देेने पर सहमति हुईं। एसडीएम राजेंद्र कुमार ने मौका पर पहुंचकर ज्ञापन लिया।
यूनियन की जिला प्रधान दर्शना व कलावती माखोसरानी ने बताया कि आज धरने का 34वां दिन है। आशाओं का मानदेय 2018 के बाद नहीं बढ़ाया गया है, परंतु काम पांच गुना बढ़ा दिया गया है। सरकार की इस नीति को लेकर आशा वर्कर्स में बहुत ज्यादा रोष है।
सोमवार को किसानों ने भी आशा वर्कर्स के धरने को समर्थन दिया। यूनियन की नेता शिमला, पिंकी ने सरकार पर आरोप लगाया कि सरकार आशा वर्कर्स की मांग मानने की बजाय गुंडागर्दी पर उतारू है, जिसके कारण आशा वर्करों में रोष है। सरकार कहती है कि आम जनता को हड़ताल के कारण कोई नुकसान नहीं हो रहा है। जबकि जब से आशा वर्कर्स हङ़ताल पर आई है, तब से आशा वर्कर से संबंधित सभी कार्य बंद पड़े हए हैं।
स्टेट कमेटी ने निर्णय अनुसार 27 सितंबर तक आशा वर्कर की हड़ताल को बढ़ा दिया गया है। इसके बावजूद भी सरकार कोई भी बात नहीं मानती है तो आगे हड़ताल लंबी बढ़ाई जाएगी। इस दौरान जो भी जनहित में नुकसान होगा, उसकी जिम्मेदार राज्य सरकार व संबधित अधिकारी होंगे।