कोलकाता/गुवाहाटी। पश्चिम बंगाल और असम में विधानसभा चुनाव के तहत होने वाले पहले चरण के मतदान के लिए गुरुवार को चुनाव प्रचार समाप्त हो गया। बंगाल में पहले चरण के तहत 30 सीटों पर जबकि असम में 47 सीटों पर शनिवार 27 मार्च को मतदान होगा।
बंगाल के पहले चरण की 30 सीटों के लिए 191 प्रत्याशी जबकि असम की 47 सीटों पर 267 उम्मीदवार किस्मत आजमा रहे हैं। राज्य के पुरुलिया, पश्चिम मिदनापुर, बंकुरा, पूर्वी मिदनापुर और झारग्राम समेत पांच जिलों की 30 सीटों पर 27 मार्च को मतदान होगा। बंगाल में सत्तारूढ़ तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) लगातार तीसरी बार सत्ता में बने रहने का प्रयास कर रही जिसको लेकर उसे भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) से कड़ी चुनौती का सामना करना पड़ रहा है।
असम की 47 सीटों पर कुल 267 प्रत्याशी किस्मत आजमा रहे हैं। 47 सीटों में से 42 सीटें ऊपरी असम के 11 जिलों की हैं जबकि पांच सीटें सेंट्रल असम इलाके की शामिल हैं।
इनमें सीटों पर हिंदू असमिया मतदाताओं के साथ-साथ चाय बगानों में काम करने वाले अनुसूचित जनजाति के मतदाताओं की भी निर्णायक भूमिका है। असमिया मतदाता नागरिकता संशोधन कानून ( सीएए) लागू करने के खिलाफ हैं जबकि चाय बागानों में काम करने वाले अदिवासी समुदायों के लिए दिहाड़ी मजदूरी एक अहम मुद्दा है।
बंगाल में पहले चरण के तहत पताशपुर, कंठी उत्तर, भागबानपुर, खेजुरी (एससी),कांति दक्षिणा, रामनगर, इगरा, दांतन, नयाग्राम (एसटी), गोपीबल्लभपुर, झारग्राम, केशियारी (एसटी), खड़गपुर, गरबेटा, सालबोनी, मेदिनीपुर,बिनपुर (एसटी), बांदवान (एसटी), बलरामपुर, बाघमुंडी, जॉयपुर, पुरुलिया, मनबाजार (एसटी), काशीपुर पारा (एससी), रघुनाथपुर (एससी), सल्टौरा (एससी), छठना, रानीबांध (एसटी) और रायपुर (एसटी) सीट पर 27 मार्च शनिवार को मतदान होगा।
बंगाल में पहले चरण के मतदान के लिए कुल 191 उम्मीदवार मैदान में हैं जिनमें 21 महिला उम्मीदवार हैं। जंगल महल क्षेत्र के नाम से चर्चित इन इलाकों में आदिवासी समुदाय की पकड़ है। कोरोना के कारण चुनाव आयोग ने मतदान के लिए 30 मिनट का अतिरिक्त समय दिया है।
चुनाव आयोग की ओर से जारी अधिसूचना के मुताबिक मतदाता सुबह सात बजे से शाम साढ़े छह बजे तक अपने मताधिकार का प्रयोग कर सकेंगे। निष्पक्ष एवं शांतिपूर्ण मतदान के लिए सुरक्षा के व्यापक प्रबंध किए गए हैं जिसके तहत केन्द्रीय तथा राज्य सुरक्षाबलों के जवानों को तैनात किया गया है।
चुनाव प्रक्रिया तथा खर्च की निगरानी के लिए चुनावी पर्यवेक्षक नियुक्त किए गए हैं, इसके अलावा विशेष पुलिस पर्यवेक्षक विवेक दुबे को भी नियुक्त किया गया है। चुनाव प्रचार के दौरान राजनीतिक दलों के नेताओं के बीच आरोप-प्रत्यारोप का दौर भी चला। सत्तारूढ़ टीएमसी, भाजपा और लेफ्ट-कांग्रेस-आईएसएफ गठबंधन के नेताओं के बीच वाक युद्ध भी देखने को मिला।
टीएमसी सुप्रीमो एवं मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने लोगों से भाजपा को हराने के लिए मतदान करने की अपील की जबकि भाजपा के स्टार प्रचारक प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने राज्य की जनता से भाजपा के पक्ष में मतदान करने का आग्रह किया।
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी, भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह, रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह, स्मृति ईरानी, नितिन गडकरी, धर्मेंद्र प्रधान, उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, पश्चिम बंगाल भाजपा प्रभारी कैलाश विजयवर्गीय और बंगाल भाजपा अध्यक्ष दिलीप घोष ने पार्टी उम्मीदवारों के लिए जमकर चुनाव प्रचार किया।
कलाकार से नेता बने लॉकेट चटर्जी, रूपा गांगुली, बाबुल सुप्रियो, मनोज तिवारी, सरबंती चटर्जी, पायल सरकार और हीरन चटर्जी ने भी भाजपा के लिए प्रचार किया।