काठमांडू। नेपाल के तारा एयर के ट्विन ओटर विमान के दुर्घटना पर हुई प्रारंभिक जांच ने खराब मौसम को हादसे के लिए जिम्मेदार ठहराया है। यह विमान रविवार को लापता हो गया था जिसमें चार भारतीयों सहित 22 लोग सवार थे। नेपाल सरकार ने इस पर जांच के आदेश दिए हैं।
विधानमंडल-संसद की अंतरराष्ट्रीय संबंध समिति की बैठक में नेपाल के नागरिक उड्डयन प्राधिकरण (सीएएएन) के महानिदेशक प्रदीप अधिकारी ने कहा कि खराब मौसम के कारण नेविगेट करने में परेशानी हुई, जिसके बाद विमान दुर्घटनाग्रस्त हो गया। अधिकारी ने कहा कि इस पर एक जांच समिति दुर्घटना के विस्तृत कारणों का पता लगाएगी।
उल्लेखनीय है कि सरकार ने विमान दुर्घटना की जांच के लिए एक पांच सदस्यीय जांच आयोग का गठन किया है। संस्कृति, पर्यटन और नागरिक उड्डयन मंत्रालय ने सोमवार को कहा कि आयोग का गठन सीनियर एयरोनाटिकल इंजीनियर रतीश चंद्र लाल सुमन के नेतृत्व में किया गया है।
मंत्रालय द्वारा जारी बयान के मुताबिक आयोग दुर्घटना के कारणों का पता लगाने के साथ ही साथ आगे आने वाले समय में इस तरह की घटनाओं से बचने के लिए सुझाव भी प्रस्तुत करेगा।
नेपाल सेना ने कहा कि हिमालयी राष्ट्र के उत्तर-पश्चिमी भाग में मस्टैंग जिले के थासांग के सानो स्वरे भीर में सोमवार सुबह 14,500 फुट की ऊंचाई पर दुर्घटनाग्रस्त विमान का मलबा मिला।
मस्टैंग के मुख्य जिला अधिकारी नेत्र प्रसाद शर्मा ने सेतोपति न्यूज को बताया कि अभी तक 21 लोगों के शव बरामद कर लिए गए हैं, जबकि एक की तलाश की जा रही है। इन शवों की हालांकि पहचान अभी तक नहीं हो पाई है। प्रशासन इन शवों को पोखरा या काठमांडू लाने की तैयारी कर रहा है।
गौरतलब है कि तारा एयर का विमान रविवार सुबह पोखरा हवाई अड्डे से 19 यात्रियों और चालक दल के तीन सदस्यों को लेकर रवाना हुआ। एयरलाइंस कंपनी के मुताबिक यात्रियों में 13 नेपाली, चार भारतीय और दो जर्मन नागरिक शामिल थे। इसके पायलट प्रभाकर घिमिरे थे।