कोलकाता। पश्चिम बंगाल की ममता बनर्जी सरकार ने भारतीय जनता पार्टी के नेता मनीष शुक्ला की हत्या की जांच अपराध अनुसंधान विभाग से कराने का सोमवार को आदेश दिया लेकिन भाजपा इस हत्याकांड की केंद्रीय जांच ब्यूरो से जांच कराने की मांग पर अड़ी है और अपनी मांग के समर्थन में आज सुबह से 12 घंटे का बैरकपुर बंद भी आहूत किया।
टीटागढ़ नगर निगम के पूर्व पार्षद श्री शुक्ला का रविवार की शाम टीटागढ़ थाने के पास पार्टी कार्यालय में मोटरसाइकिल सवार बंदूकधारियों ने गोली मारकर हत्या कर दी। प्रदेश भाजपा अध्यक्ष दिलीप घोष ने दावा किया कि शुक्ला को 12 गोलियां मारी गई जिनमें से चार सिर में लगी थीं।
बैरकपुर से भाजपा सांसद अर्जुन सिंह ने दावा किया कि पार्टी सहकर्मी और उनके करीबी सहयोगी शुक्ला की हत्या में कार्बाइन का इस्तेमाल किया गया। उन्होंने इसे राजनीतिक हत्या बताते हुए घटना की सीबीआई से जांच कराने की मांग की है। उन्होंने दावा किया कि वह भी विपक्षी नेताओं, विशेषकर सत्तारूढ़ तृणमूल कांग्रेस से भाजपा में शामिल हुए नेताओं, को खत्म करने की साजिश में निशाने पर हैं।
सिंह एवं घोष ने कहा कि हमारा राज्य पुलिस पर कोई भरोसा नहीं है क्योंकि अब तक कई भाजपा नेता एवं कार्यकर्ता मारे जा चुके हैं तथा हमलावरों काे पकड़ना तो दूर उन पर मामले तक दर्ज नहीं किए गए हैं।
भाजपा के आहवान पर बंद रहा बैरकपुर
पश्चिम बंगाल के टीटागढ़ नगर पालिका से भारतीय जनता पार्टी के पूर्व निगम पार्षद मनीष शुक्ला की अज्ञात बदमाशों द्वारा की गई हत्या के विरोध में भाजपा ने सोमवार को 12 घंटे बैरकपुर बंद का आह्वान किया।
भाजपा नेता मनीष शुक्ला की रविवार शाम 24 परगना के औद्योगिक बैरकपुर क्षेत्र में अज्ञात बाइक सवार बदमाशों ने गोली मार कर हत्या कर दी थी जिसके बाद उनके समर्थकों ने टायर जलाकर और राजमार्ग के किनारे की दुकानों और व्यापार को बंद करने के लिए कल्याणी एक्सप्रेसवे तथा बैरकपुर-बरसत रोड को पूरी तरह बंद कर दिया। भाजपा कार्यकर्ताओं ने भी हत्या का विरोध जताते हुए राष्ट्रीय राजमार्ग 34 को इसी तरह से बंद कर दिया था जिसे बाद में पुलिस खुलवाया और यातायात स्थिति बहाल की गई।
भाजपा के राष्ट्रीय नेता और पश्चिम बंगाल के प्रभारी कैलाश विजयवर्गीय ने भाजपा नेता की हत्या को लेकर ममता सरकार पर हमला बोलते हुए कहा कहा कि बंगाल अब एक ऐसी जगह बन गया है जहां हत्या एक आम घटना हैं। उन्होंने कहा कि टीटागढ़ में भाजपा के निगम पार्षद की तृणमूल कांग्रेस के कार्यकर्ताओं ने गोली मार कर हत्या कर दी। लगातार हो रही यह घटनाएं टीएमसी के अपरिहार्य अंत की ओर इशारा करती है।
भाजपा प्रदेश अध्यक्ष ने कहा कि भाजपा के युवा नेता, वकील और पूर्व पार्षद मनीष शुक्ला की हत्या निंदनीय है। यह तृणमूल की पश्चिम बंगाल में खूनी राजनीति का एक उदाहरण है। क्या इस राज्य सरकार से किसी न्याय की उम्मीद की जा सकती है? यह पूरी तरह से तृणमूल का राजनीतिक आतंकवाद है।
भाजपा नेता मुकुल रॉय और सांसद एमपी अर्जुन सिंह समेत कई नेता भाजपा नेता मनीष शुक्ला के घर भी पहुंचे और इस मामले की जांच केंद्रीय जांच ब्यूरो से कराने की मांग की। पार्टी सूत्रों ने कहा कि यह हत्या सुनियोजित थी और रविवार को जब मनीष शुक्ला के सुरक्षा कर्मी अवकाश पर थे तब उन पर यह हमला किया गया।
इस बीच बंगाल के राज्यपाल जगदीप धनखड़ ने भी राज्य की कानून व्यवस्था पर सवाल उठाते हुए कहा कि राज्य में कानून व्यवस्था की स्थिति भयावह है। संवैधानिक प्रमुख द्वारा चेतावनी के बावजूद राजनीतिक हत्याएं जारी है। इस मामले में न तो अपर मुख्य सचिव और न ही पुलिस महानिदेशक ने कोई टिपण्णी की हैं।
गौरतलब है कि भाजपा नेता मनीष शुक्ला बैरकपुर से भाजपा सांसद अर्जुन सिंह के करीबी थे। अज्ञात बदमाश रविवार को बेहद नजदीकी से गोली उन्हें गोली मार कर फरार हो गए थे जिसके बाद भाजपा नेता को पहले स्थानीय अस्पताल ले जाया गया और बाद में कोलकाता में एक निजी अस्पताल में भर्ती कराया गया जहां उन्होंने दम तोड़ दिया।
अर्जुन सिंह ने आरोप लगाया कि भाजपा नेता की हत्या सत्तारूढ़ तृणमूल द्वारा की गई हैं।यह पहला मौका नहीं है जब राज्य में किसी भाजपा नेता पर हमला किया गया हो, इससे पहले भी कईं बार भाजपा नेताओं पर हमले किए जा चुके हैं।