पटना। बिहार सरकार ने अधिक से अधिक लोगों को रोजगार देने की प्रतिबद्धता की दिशा में एक कदम और बढ़ाते हुए राज्य के विद्यालयों में एक लाख 78 हजार 26 शिक्षकों की नियुक्ति करने का निर्णय लिया है।
मंत्रिमंडल सचिवालय विभाग के अपर मुख्य सचिव डॉ. एस सिद्धार्थ ने बताया कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की अध्यक्षता में मंगलवार को हुई मंत्रिपरिषद की बैठक में इस आशय के प्रस्ताव को मंजूरी दी गई है।
डॉ. सिद्धार्थ ने बताया कि कक्षा एक से पांच तक के लिए 85477, कक्षा छह से आठ के लिए 1745, कक्षा नौ से दस के लिए 33186, और कक्षा 11 से 12 के लिए 57618 शिक्षकों की नियुक्ति की जाएगी। उन्होंने बताया कि इन पदों पर नियुक्ति के लिए बिहार लोक सेवा आयोग (बीपीएससी) द्वारा परीक्षा आयोजित की जाएगी। शिक्षक बहाली की प्रतियोगिता परीक्षा जल्द से जल्द आयोजित कराने का निर्णय लिया गया है।
अपर मुख्य सचिव ने बताया कि सरकार ने अलग-अलग कक्षाओं के शिक्षकों के लिए मूल वेतनमान भी निर्धारित कर दिया है। इसके तहत कक्षा एक से पांच के लिए नियुक्ति होने वाले शिक्षकों का मूल वेतन 25 हजार रुपए, कक्षा छह से आठ के शिक्षकों का 28 हजार रुपए, कक्षा नौ से दस के शिक्षकों का 31 हजार रुपए और कक्षा 11 से 12 के लिए बहाल होने वाले शिक्षकों का मूल वेतन 32 हजार रुपए प्रतिमाह होगा। उन्होंने बताया कि शिक्षकों के मूल वेतन में महंगाई भत्ता 42 प्रतिशत, आवास भत्ता आठ प्रतिशत, सीटी 1500 रुपए, मेडिकल 1000 रुपए और पेंशन में योगदान 14 प्रतिशत से अलग से शामिल होगा।
डॉ. सिद्धार्थ ने बताया कि सरकार ने बढ़ते प्रदूषण को नियंत्रित करने के लिए गया और मुजफ्फरपुर नगर निगम क्षेत्र में 15 वर्ष से अधिक के वाहनों का परिचालन बंद करने का निर्णय लिया है। इस निर्णय के तहत 01 अक्टूबर 2023 से 15 साल से अधिक पुराने वाहनों के परिचालन पर पूर्ण रूप से रोक लगा दी जाएगी। इसके अलावा गया और मुजफ्फरपुर नगर निगम क्षेत्र में 30 सितंबर से डीजल वाहनों के चलने पर भी प्रतिबंध लगा दिया गया है।
अपर मुख्य सचिव ने बताया कि मंत्रिपरिषद की बैठक में 2000 पंचायतों में पंचायत भवन निर्माण की प्रशासनिक स्वीकृति दी। उन्होंने बताया कि बैठक में 18 प्रस्ताव मंजूर किए गए।