नई दिल्ली। संसदीय कार्य मंत्री अनंत कुमार ने कांग्रेस और उसके नेताओं पर संसद के बजट सत्र के दूसरे चरण में कोई कामकाज नहीं होने का आरोप लगाते हुए आज कहा कि कांग्रेस की जनादेश के प्रति असहिष्णुता को लेकर भारतीय जनता पार्टी के सांसद 12 अप्रेल को अपने-अपने संसदीय क्षेत्रों में अनशन कर संसद की कार्यवाही बाधित किए जाने के बारे में आम लोगों को अवगत कराएंगे।
बजट सत्र की कार्यवाही अनिश्चितकाल के लिए स्थगित होने के बाद कुमार ने यहां संवाददाताओं से चर्चा में बजट सत्र के दूसरे चरण में दोनों सदनों की कार्यवाही लगभग ठप रहने के लिए कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी और पार्टी नेता सोनिया गांधी को जिम्मेदार ठहराते हुए कहा कि पांच मार्च को दूसरे चरण की शुरूआत में लोकसभा में कांग्रेस के नेता मलिकार्जुन खड़गे ने नियम 193 के तहत कार्यस्थगन का नोटिस दिया था और जब अध्यक्ष ने इसे चर्चा के लिए स्वीकार कर लिया तो बाद में वह अपने नोटिस से पीछे हट गए।
उन्होंने कहा कि कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी के इटली से लौटने के बाद खड़गे अपने ही नोटिस पर चर्चा कराने से पीछे हट गए। मंत्री ने कहा कि यह बड़ा दुर्भाग्यपूर्ण है कि जो पार्टी 55 वर्षाें तक केन्द्र में सत्ता में रही और 70 वर्षाें से देश के संसदीय इहितास का मुख्य हिस्सा रही है उसी कांग्रेस ने दोनों सदनों को रोकने का काम किया है।
उन्होंने कहा कि बजट सत्र का पहला चरण पूरी तरह सफल रहा था लेकिन दूसरे चरण में कांग्रेस ने क्षेत्रीय दलों की पिछलग्गू बनकर कार्यवाही बाधित की और लोकतंत्र में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को मिले जनादेश का अपमान किया।
उन्होंने कहा कि जनता ने नरेन्द्र मोदी सरकार को पूर्ण बहुमत और राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन को दो तिहाई बहुमत दिया है। देश के 21 प्रदेशों की जनता ने भाजपा को जनादेश दिया है और कांग्रेस ने उस जनादेश के विरूद्ध काम किया है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस नेतृत्व इस जनादेश को नहीं समझ रहा है जो बहुत ही दुभार्ग्यपूर्ण है।
उन्होंने कहा कि 15 मार्च को वाईएसआर कांग्रेस ने और 16 मार्च को तेलुगु देशम पार्टी ने अविश्वास प्रस्ताव का नोटिस दिया था लेकिन कांग्रेस को तब कुछ समझ में नहीं आया और 27 मार्च को उसने क्षेत्रीय दलों के पिछलग्गू की तरह अविश्वास प्रस्ताव का नोटिस दिया। उन्होंने कहा कि कांग्रेस की न तो अपनी कोई रणनीति है और न ही कोई तर्क है।
कुमार ने कहा कि कांग्रेस के इस रवैये के कारण बजट सत्र के दूसरे चरण में काेई कामकाज नहीं हो सका और इससे लोगों को अवगत कराने के लिए भाजपा सांसद 12 अप्रैल को पूरे देश में अपने-अपने संसदीय क्षेत्र में अनशन करेंगे।
उन्होंने कांग्रेस से सवाल किया कि उसने नियम 193 के तहत बैंक धोखाधड़ी पर दिए गए नोटिस को क्यों बदला। कांग्रेस के सदस्य पांच मार्च से 15 मार्च तक सदन के बीचोंबीच क्यों आए। कांग्रेस के सदस्यों ने जनहित से जुड़े दो- तीन विधेयकों को पारित कराने में क्यों मदद नहीं की।
उन्होंने कहा कि विपक्ष द्वारा उत्पन्न किए गए गतिरोध के कारण संसद में कोई कामकाज नहीं होने के मद्देनजर राजग सांसदों ने बजट सत्र के दूसरे चरण का वेतन भत्ता नहीं लेने का स्वेच्छा से निर्णय लिया है लेकिन कांग्रेस ने अब तक अपना रूख इस पर स्पष्ट नहीं किया है।
उन्होंने कहा कि भाजपा जब विपक्ष में थी तब भी ऐसी स्थिति में उसके सांसदों ने वेतन भत्ता नहीं लिया था और अब जब सत्ता में रहते हुए भी उसने यह फैसला किया है।