इसरो (ISRO) के चंद्रयान-2 मिशन को लेकर अच्छी खबर आई है। चंद्रयान-2 का विक्रम लैंडर चाँद पर गिरने के बाद टूटा नहीं है। जी हाँ, इसरो के एक ऑफिसर ने बताया कि विक्रम लैंडर पूर्व निर्धारित जगह के करीब ही पड़ा है। बड़ी बात यह है कि उसमें कोई टूट-फूट नहीं हुई है। लेकिन वह थोड़ा टेढ़ा पड़ा है। वहीं अभी भी लैंडर विक्रम से संपर्क साधने में लगा हुआ है।
ऑर्बिटर द्वारा भेजी गई थर्मल इमेज में विक्रम लैंडर लुनर सरफेस पर सुरक्षित दिखा है। विक्रम टूटा नहीं है और उसका पूरा हिस्सा सुरक्षित है। इसरो के अधिकारी ने कहा, विक्रम से दोबारा संपर्क साधे जाने की अब भी 60 से 70 प्रतिशत संभावना है।
खबरों के अनुसार, विक्रम लैंडर लैंडिंग वाली तय जगह से 500 मीटर दूर पड़ा है। चंद्रयान-2 के ऑर्बिटर में लगे ऑप्टिकल हाई रिजोल्यूशन कैमरा (OHRC) ने विक्रम लैंडर की तस्वीर ली है। रविवार को इसरो के प्रमुख के सिवन ने रविवार को कहा था कि चंद्रयान-2 ऑर्बिटर में लगे कैमरों ने लैंडर की मौजूदगी का पता लगाया। इससे एक दिन पहले ही यह महत्त्वकांक्षी चंद्रमा मिशन योजना के अनुसार चंद्रमा की सतह पर ‘सॉफ्ट लैंडिंग’ नहीं कर पाया था।