वुझेन । चीन और रूस ने आतंकवाद के खिलाफ भारत के रुख का समर्थन किया है। चीन के वुजेन शहर में रूस-भारत-चीन (आरआईसी) समूह के विदेश मंत्रियों की 16 वीं बैठक के बाद जारी संयुक्त वक्तव्य में कहा गया कि तीन देशों रूस, भारत और चीन का साझा विकास और करीबी सहयोग विश्व शांति एवं स्थिरता में सहायक है तथा वैश्विक प्रगति को बढ़ावा देता है।
चीन और रूस के विदेश मंत्रियों ने भारतीय विदेश मंत्री सुषमा स्वराज के आतंकवाद से निपटने के लिए वैश्विक स्तर पर सहयोग की जरूरत की दलील पर सहमति जतायी है जिससे भारत के निरंतर कूटनीतिक प्रयासों को प्रोत्साहन मिला है। चीन के विदेश मंत्री वांग यी ने कहा, “हम आतंकवाद के सभी रूपों से नीतिगत सहयोग के जरिये निपटने पर सहमत हैं और यह आतंकवाद एवं चरमपंथ के पनाहगाहों को नष्ट करने के लिए महत्वपूर्ण है।”
स्वराज ने कहा, “हम इस बात पर सहमत हैं कि संयुक्त राष्ट्र के नेतृत्व वाला वैश्विक आतंकवाद निरोधक प्रणाली स्थापित की जानी चाहिए और इस पर भी रजामंद हैं कि भारत की आेर से प्रस्तावित अंतरराष्ट्रीय आतंकवाद पर व्यापक संधि को अंतिम रूप दिया जाये और जल्द से जल्द अपनाया जाये।”
संयुक्त बयान में कहा गया कि तीनों देशों के विदेश मंत्रियों ने रूस-भारत-चीन त्रिपक्षीय ढांचे को चिह्नित क्षेत्रों में करीबी संवाद और व्यावहारिक सहयोग के मंच के तौर पर महत्व देने की बात दुहरायी। महत्वपूर्ण अंतरराष्ट्रीय और क्षेत्रीय प्रभाव के देशों के तौर पर तीनों देश आपसी विचार-विमर्श और आपसी हित के अंतरराष्ट्रीय एवं क्षेत्रीय मुद्दों,स्वायत्तता का सम्मान, आंतरिक मामलों में हस्तक्षेप नहीं करने, एकता, आपसी समझ एवं विश्वास के क्षेत्र में सहयोग को बढ़ावा देेने के लिए तैयार हैं।