रावलपिंडी। पाकिस्तान के सेना प्रमुख कमर जावेद बाजवा ने शुक्रवार को 22 कट्टर आतंकवादियों की मौत की सजा की पुष्टि कर दी।
इन लोगों को बम विस्फोट तथा हमला कर 176 लोगों की हत्या करने के मामले में सैन्य अदालत ने दोषी ठहराया था। मारे गए लोगों में सैनिकों, कानूनी प्रवर्तन एजेंसी तथा आम नागरिक शामिल थे।
सेना की मीडिया इकाई इंटर सर्विसेज पब्लिक रिलेशन्स ने एक प्रेस विज्ञप्ति जारी कर यह जानकारी दी है। विज्ञप्ति में बताया गया कि ये लोग पाकिस्तान के सशस्त्र बलों/कानूनी प्रवर्तन एजेंसी के जवानों की नृशंस हत्या, बम विस्फोट कर संचार ढांचों, पुलिस केंद्रों, शैक्षणिक संस्थानों को नष्ट करने तथा निर्दोष नागरिकों की हत्या की घटनाओं में शामिल थे। इन लोगों के पास से हथियार और विस्फोटक सामग्रियां भी बरामद हुई थीं।
विज्ञप्ति के अनुसार इन सभी को 176 लोगों की हत्या, जिसमें सशस्त्र बलों के 19 जवान, 41 पुलिस/आयकर अधिकारियों तथा 116 नागरिकों की हत्या करने तथा 217 लोगों को घायल करने के आरोप में दोषी ठहराया गया था।
इन आतंकवादियों में से छह आतंकवादी मार्च 2013 में कराची के अब्बास शहर में हुए बम विस्फोट की वारदात में शामिल थे। इस घटना में 57 लोगों की मौत हो गई थी। दोषी ठहराए गए अन्य आतंकवादी अप्रेल 2006 में रावलपिंडी के निश्तार पार्क में आत्मघाती हमला करने की वारदात में शामिल थे। उस घटना में 54 लोग मारे गए थे।
दोषियों के खिलाफ सेना की अदालत में मामला चला। अदालत ने 15 अन्य लोगों को कैद की सजा सुनाई है और दो आरोपियों को बरी कर दिया था।