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बूंदी के दिवंगत SHO बुद्धि प्रकाश नामा को सलामी देने के मसले पर विवाद - Sabguru News
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बूंदी के दिवंगत SHO बुद्धि प्रकाश नामा को सलामी देने के मसले पर विवाद

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बूंदी के दिवंगत SHO बुद्धि प्रकाश नामा को सलामी देने के मसले पर विवाद

कोटा। राजस्थान के कोटा में एक थाना प्रभारी बुद्धि प्रकाश नामा की कोविड-19 से मृत्यु के बाद अब उनकी अंत्येष्टि के समय ‘गार्ड ऑफ ऑनर ‘ देने के मसले को लेकर विवाद खड़ा हो गया है।

कोटा जिले में कैथून क्षेत्र के खेड़ा रसूलपुर के मूल निवासी पुलिस सब इंस्पेक्टर बुद्धि प्रकाश नामा (55) का शुक्रवार को कोरोना वायरस से संक्रमित होने के बाद इलाज के दौरान कोटा मेडिकल कॉलेज के संलग्न नए अस्पताल में निधन हो गया था। उनका शनिवार को उनके पैतृक गांव खेड़ा रसूलपुर में ही अंतिम संस्कार किया जाना था।

बूंदी जिले के कापरेन थाना प्रभारी के पद पर रहते ड्यूटी के दौरान ही कोरोना वायरस से संक्रमण के बाद श्री नामा को कोटा लाकर नए अस्पताल में भर्ती करवाया गया था जहां 10 दिन के इलाज के बाद उनका दम टूट गया है, लेकिन शनिवार को जब खेड़ा रसूलपुर गांव में उनका अंतिम संस्कार किया जाना था, तब ड्यूटी पर मौत के बावजूद पुलिस प्रशासन ने उन्हें ‘गार्ड ऑफ ऑनर’ देने की कोई व्यवस्था नहीं की थी।

अंत्येष्टि स्थल पर कई जनप्रतिनिधि भी उपस्थित थे जिन्होंने इसे पुलिस का अपने ही विभाग के अधिकारी के प्रति संवेदनहीन रवैया मानकर वहां मौजूद कुछ पुलिस अधिकारियों के समक्ष कड़ा विरोध जताया तो अधिकारी इस बात का हवाला देने लगे कि कोरोना वायरस गाइड लाइन में सशस्त्र सलामी देने का आदेश नहीं है।

जब यह बात कोटा ग्रामीण पुलिस अधीक्षक के संज्ञान में लाई गई तो विवाद को बढ़ता देख कर उन्होंने कैथून थाना प्रभारी को ‘गार्ड ऑफ ऑनर’ देने के निर्देश दिए। इसके बाद कैथून थाना प्रभारी के नेतृत्व में सशस्त्र पुलिस गारद ने दिवंगत थाना प्रभारी नामा को सलामी दी।

अब उच्च पुलिस अधिकारी यह कहते हुए विवाद को शांत करने में जुटे हैं कि दिवंगत थाना प्रभारी के प्रति पूर्ण राजकीय सम्मान प्रकट किया गया है। इस बात से कोई फर्क नहीं पड़ता कि उन्हें ‘गार्ड ऑफ ऑनर’ कोटा ग्रामीण पुलिस ने दिया या बूंदी जिला पुलिस को देना चाहिए था जहां के एक थाने के नामा प्रभारी थे।

उनका कहना है कि बूंदी और कोटा ग्रामीण दोनों ही कोटा रेंज के तहत आते हैं। हालांकि इस मामले में कैथून पुलिस ने यह बात मानी है कि आनन-फानन में ही पुलिस अधिकारी दिवंगत नामा को ‘गार्ड ऑफ ऑनर’ देने की व्यवस्था की गई क्योंकि पूर्व में इस बारे में कोई दिशा-निर्देश नहीं थे।

पुलिस अधीक्षक (ग्रामीण) ने कैथून थाना प्रभारी को खेड़ा रसूलपुर जाकर ‘गार्ड ऑफ ऑनर’ देने के निर्देश दिए। इसके बाद थाना प्रभारी ने कैथून के पुलिस जाब्ते से दिवंगत पुलिस अधिकारी को सशस्त्र सलामी दिलवाई। वैसे नामा की अंत्येष्टि के समय कोटा रेंज के पुलिस उपमहानिरीक्षक रविदत्त गौड़ और बूंदी जिला पुलिस अधीक्षक शिवराज मीणा भी खेड़ा रसूलपुर गांव पहुंचे।