अजमेर। राजस्थान में अजमेर के अतिरिक्त सत्र न्यायालय ने महिला उपखंड अधिकारी के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज करने के आदेश दिए हैं।
न्यायालय ने कल अजमेर की उपखंड अधिकारी आर्तिका शुक्ला और उनके गार्ड के खिलाफ दायर इस्तगासे पर आदेश देते हुए सिविल लाइंस पुलिस थाने को मामला भिजवाया है। शुक्ला एवं उनके गार्ड पर आरोप है कि लॉकडाउन-2 के दौरान 21 अप्रेल को डॉ. ज्योत्सना रंगा ऑन ड्यूटी थी। देर शाम एसडीएम आर्तिका शुक्ला अपने गार्ड के साथ वहां आई और डॉ.रंगा को अपमानित करते हुए अभद्र व्यवहार किया।
इस पर डॉ. रंगा ने उनके खिलाफ इस्तगासा करके बताया कि शुक्ला ने उनकी कलाई मरोड़कर मोबाइल छीनने का प्रयास किया और जब वे सफल नहीं हुई तो अपने गार्ड को बुलाकर मोबाइल छीन लिया। उन्होंने अदालत को बताया कि पुलिस मामले में अर्तिका शुक्ला के पद को देखते हुए कार्रवाई नहीं कर रही है।
उल्लेखनीय है कि इस मामले में सिविल लाइन थाना पुलिस में डॉ. रंगा की ओर से अधिकारी के खिलाफ अलग से मुकदमा दर्ज है जिसमें चिकित्सकों के संघ के पदाधिकारी भी शामिल हैं। इन लोगों ने डॉ. रंगा के समर्थन में प्रदर्शन भी किया था। तब कलेक्टर विश्व मोहन शर्मा ने मामले में गलतफहमी बताते हुए परस्पर समझौते की बात बताई थी लेकिन अब अदालत के आदेश पर थाना पुलिस मामले की जांच करके आगे कार्रवाई करेगी।