तियानजिन। अनुभवी भारतीय खिलाड़ियों लिएंडर पेस अौर रोहन बोपन्ना की जोड़ी ने यहां डेविस कप एशिया ओसनिया जोन ग्रुप एक में चीन के खिलाफ शनिवार को अपना महत्वपूर्ण युगल मैच जीतकर भारत को मुकाबले में वापसी कराने की कोशिश की। इसी के साथ पेस ने टूर्नामेंट के इतिहास का सबसे सफल खिलाड़ी बनने की उपलब्धि भी अपने नाम कर ली।
चीन की जमीन पर हो रहे डेविस कप मुकाबले के पहले दिन भारत के दोनों एकल खिलाड़ी रामकुमार रामनाथन और सुमित नागल अपने अपने मैच हार गए थे जिससे भारत 0-2 से पिछड़ गया था। लेकिन तीसरे युगल मैच में पेस और बोपन्ना की अनुभवी जोड़ी ने पिछड़ने के बावजूद चीन के माओ शिन गोंग और जी झांग की जोड़ी को 5-7, 7-6, 7-6 से हराकर स्कोर 2-1 पहुंचा दिया।
इसी के साथ पेस ने भारत के लिए रिकार्ड 43वां डेविस कप मैच भी जीत लिया जिससे वह टूर्नामेंट के इतिहास में सर्वाधिक मैच जीतने वाले खिलाड़ी भी बन गए हैं। वह इस उपलब्धि से मात्र एक जीत ही दूर थे और उन्होंने करो या मरो के मैच में पहला सेट गंवाने के बावजूद जीत दर्ज की और भारत को भी मुकाबले में बनाए रखा।
हालांकि भारतीय टेनिस संघ के दबाव के बाद 44 साल के पेस और बोपन्ना टीम बनाने पर राज़ी हुए थे। दोनों भारतीय खिलाड़ियों ने मैच में चार डबल फाल्ट किए और नौ में से तीन बार विपक्षी चीनी जोड़ी की सर्विस ब्रेक की।
भारत का अब चौथे उलट एकल मैच में रामकुमार रामनाथन पर बराबरी दिलाने का दारोमदार है जिनका मैच चीनी खिलाड़ी वू डी से होना है। वहीं पांचवें मैच में सुमित नागल के सामने यीबिंग वू की चुनौती होगी।
राष्ट्रीय जिम्मेदारी को हमेशा प्राथमिकता देने वाले पेस इस मैच से पहले तक इटली के निकोला पिएत्रांगली के साथ संयुक्त 42 डेविस कप मैच जीत के साथ बराबरी पर थे। लेकिन तीसरे मैच में जीत से उन्होंने इतालवी खिलाड़ी को पीछे छोड़ दिया। पेस ने वर्ष 1990 में जीशान अली के साथ डेविस कप पदार्पण किया था।