करनाल। किसानों के साथ कठोर कार्रवाई करने का आदेश देने वाले हरियाणा के वरिष्ठ प्रशासनिक अधिकारी आयुष सिन्हा के खिलाफ सेवानिवृत्त न्यायाधीश से समयबद्ध जांच कराने और मृत किसान के दो परिजनों को सरकारी नौकरी देने की मांग मान लिए जाने के बाद संयुक्त किसान मोर्चा ने अपना धरना समाप्त कर दिया है।
किसान नेता गुरनाम सिंह चढ़ूनी ने शनिवार को यहां बताया कि अतिरिक्त मुख्य सचिव देवेन्द्र सिंह और अन्य प्रशासनिक अधिकारियों के साथ हुई वार्ता में तीन मांगों पर सहमति बनी है।
उन्होंने बताया कि करनाल के तत्कालीन एसडीएम आयुष सिन्हा के किसानों पर लाठीचार्ज से जुड़े आदेश संबंधी मामले की जांच उच्च न्यायालय के पूर्व न्यायाधीश करेंगे और रिपोर्ट एक महीने में प्रस्तुत की जायेगी। जांच के दौरान श्री सिन्हा आवकाश पर रहेंगे।
उन्होंने बताया कि दिवंगत किसान सुशील काजल के परिवार के दो लोगों को सरकारी नौकरी दिये जाने की मांग भी प्रशासन ने मान ली है। इसके बाद उन्होंने करनाल के मिनी सचिवालय के बाहर चल रहे किसानों के धरने को समाप्त करने की घोषणा की।