कोलकाता। पश्चिम बंगाल में गुरुवार को कोलकाता मेट्रो में आग लगने और ट्रेन के डिब्बों में धुंआ भर जाने से कम से कम 16 यात्री बीमार पड़ गए।
सूत्रों के अनुसार रवीन्द्र सदन और मैदान स्टेशन के बीच एक सुरंग के अंदर मेट्रो के एक डिब्बे में आग लगने से डिब्बों में घना धुंआ घुस गया। वातानुकूलित मेट्रो ट्रेन में घटना के समय 1500 से अधिक यात्री सवार थे। जिससे यात्रियों में अफरातफरी मच गई।
मेट्रो अधिकारियों के अनुसार ट्रेन में ट्रेन के एक डिब्बे में शाम पांच बजे के करीब उस समय आग लग गई जब ट्रेन रवींद्र सदन और मैदान स्टेशन के बीच चल रही थी। ट्रेन कवि सुभाष से दमदम की ओर जा रही थी।
मेट्रो के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया यात्रियों को सुरंग से बाहर निकालने से पहले ही तीसरी लाइन की बिजली बंद करनी पड़ी। मेट्रो स्टाफ के प्रयास से एक घंटे के अंदर आग पर काबू पा लिया गया और सभी यात्रियों सुरंग से सुरक्षित बाहर निकाल लिया गया। इस घटना में कोई हताहत नहीं हुआ।
उन्होंने कहा कि तबीयत खराब होने वाले यात्रियों में अधिकतर वरिष्ठ नागरिक है। इस घटना में 16 लोग दम घुटने से बीमार पड़े हैं और 15 लोग मामूली रूप से घायल हुए हैं। एक व्यक्ति के पांव टूटने तथा कुछ यात्रियों ने सांस लेने तकलीफ होने की शिकायत की उन्हें अस्पताल ले जाया गया है।
कुछ यात्रियों ने बताया कि ट्रेन के अंदर धुंआ भरने से लोगों में जबर्दस्त अफरातफरी मच गई, लेकिन इस स्थिति के बारे बताने के लिए अधिकारियों से संपर्क स्थापित नहीं हो सका।
इस बीच मेट्रो रेलवे ने ट्वीट किया कि रवींद्र सदन और मैदान स्टेशन के बीच शाम पांच बजे मेट्रो में आग लगने की घटना घटी। दमकल कर्मियों और हमारे स्टाफ पानी की बौछार कर आग पर काबू पा लिया।
पश्चिम बंगाल अग्निशमन सेवा और कोलकाता पुलिस आपदा प्रबंधन समूह भी पहुंच गया था। सभी यात्रियों को शाम छह बजे तक सुरक्षित बाहर निकाल लिया गया। घबराने की कोई जरूरत नहीं है।
मेट्रो प्रशासन ने एक अन्य ट्वीट किया कि अन्य सेवाएं अब दोनों ओर से सेंट्रल से नोआपारा और महानायक उत्तम कुमार से कबि सुभाष के बीच चल रही हैं तथा दुमदुम और नोआपारा के बीच अतिरिक्त सेवाएं शुरू की गई है।
मेट्रो रेलवे की मुख्य जनसंपर्क अधिकारी इंद्राणी बनर्जी ने बताया कि आग की सूचना मिलते ही ट्रेन को फौरन रोक दिया गया और मेट्रो रेलवे के कर्मचारी आग बुझाने में जुट गए। उन्होंने बताया कि दमकल कर्मी और कोलकाता पुलिस के आपदा प्रबंधन विभाग को इसकी सूचना दी गई। कुछ देर बाद अग्निशमन की गाड़ियां भी मौके पर पहुंच गई।
उन्होंने कहा कि डिब्बों में धुंआ घुसने का सही कारण का अभी पता नहीं चल पाया है। यात्रियों को बाहर निकालने में देरी नहीं हुई। हम बिना सुरक्षा सुनिश्चित किए सुरंग के अंदर से यात्रियों को बाहर नहीं ला सकते थे। घटना की उच्चस्तरीय जांच के आदेश दिए गए हैं।