नयी दिल्ली 29 नवंबर :- विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी मंत्री डॉ. हर्षवर्द्धन ने छात्रों की ‘कट एंड पेस्ट’ प्रवृत्ति पर चिंता जताते हुये इसे संचार क्रांति का एक बड़ा नुकसान बताया।
डॉ. हर्षवर्द्धन ने यहाँ पहले ‘भारत-आसियान इनोटेक समिट’ का उद्घाटन करते हुये आज कहा “सूचना एवं संचार प्रौद्योगिकी के कई फायदे हुये हैं। हजारों की संख्या में आज ऐसे वेबसाइट हैं जिन पर वैज्ञानिक सूचनाएँ सुलभ हैं। लेकिन, इसका दूसरा पक्ष भी है। छात्र प्रोजेक्ट तैयार करने के लिए ‘कट एंड पेस्ट’ का इस्तेमाल कर रहे हैं।”
उन्होंने कहा कि भारत और आसियान के बीच मजबूत आर्थिक और सांस्कृतिक संबंध हैं। तीस सेक्टरों में संवाद की प्रणाली और सात मंत्री स्तरीय संवाद मंच हैं। इनमें विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी, रक्षा, कनेक्टिविटी, वाणिज्य, दूरसंचार, कृषि, ऊर्जा, पर्यावरणीय मुद्दे और पर्यटन शामिल हैं। विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी में दोनों पक्षों के संबंध सबसे ज्यादा जीवंत हैं। उन्होंने इस सम्मेलन के भारत में सालाना आयोजन का भी प्रस्ताव किया।
केंद्रीय मंत्री ने कहा कि नवाचारों को लोगों तक पहुँचाने, अनुसंधान को बढ़ावा देने तथा क्षमता विस्तार के लिए 50 लाख डॉलर का भारत-आसियान विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विकास कोष बनाया गया है। अब तक इसके माध्यम से 400 ऐसे नवाचारों की पहचान की गयी है जो वाणिज्यीकरण के लिए तैयार हैं। उन्होंने कहा कि देश में अब वैज्ञानिकों का रुख बदला है। उनके रुख के केंद्र में अब आम लोग हैं।
उन्होंने कहा कि यह समय जटिल समास्याओं के सरल समाधान ढूँढ़ने का है। इसमें विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी का इस्तेमाल किया जा सकता है। देश में ‘आइडिया’ को बढ़ावा दिया जा रहा है और अच्छे ‘आइडिया’ वाले किसी भी पृष्ठभूमि के लोगों को सरकार पूरा समर्थन दे रही है।
दो दिवसीय सम्मेलन में 10 आसियान देशों के 70 प्रतिनिधि हिस्सा ले रहे हैं।