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तमिलनाडु में जहरीली शराब पीने से मरने वालों की बढ़कर संख्या 21 - Sabguru News
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तमिलनाडु में जहरीली शराब पीने से मरने वालों की बढ़कर संख्या 21

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तमिलनाडु में जहरीली शराब पीने से मरने वालों की बढ़कर संख्या 21

चेन्नई। तमिलनाडु में दो त्रासदी में जहरीली शराब पीने से मरने वालों की संख्या मंगलवार को बढ़कर 21 हो गई। सूत्रों ने बताया कि ये घटनाएं विल्लुपुरम जिले के मरक्कनम में एक्कियारकुप्पम मछली पकड़ने की बस्ती और चेंगलपट्टू जिले के मदुरंतकम के पास पेरुनकरनई गांव में हुईं। मरक्कनम में कुल 14 लोगों की मौत हुई थी, जबकि चेंगलपट्टू त्रासदी में पांच लोगों की मौत हुई थी।

पुलिस सूत्रों ने कहा कि चेंगलपट्टू में शराब पीने वाले दो और लोगों की चेंगलपट्टू के सरकारी अस्पताल में मंगलवार शाम मौत हो गई। मृतकों की पहचान जम्बू और शंकर के रूप में हुई, दोनों पेरुनकनरानी गांव के रहने वाले थे। इसके साथ ही चेंगलपट्टू त्रासदी में मरने वालों की संख्या बढ़कर सात हो गई। कल शाम से अब तक कुल सात लोगों की मौत हो चुकी है। उनमें से पांच लोगों ने मरक्कनम और मुंडियमबक्कम के विल्लुपुरम गवर्नमेंट मेडिकल कॉलेज अस्पताल में दम तोड़ दिया। दो लोगों ने ने चेंगलपट्टू अस्पताल में दम तोड़ दिया, जिससे मृतकों की संख्या 14 से बढ़कर 21 हो गई।

सूत्रों ने कहा कि मरक्कनम घटना में प्रभावित 35 अन्य का विल्लुपुरम अस्पताल में, तीन का पुडुचेरी के जिपमेर में और एक का पुडुचेरी के सरकारी अस्पताल में इलाज चल रहा है। पांच अन्य का इलाज चेंगलपट्टू के सरकारी अस्पताल में चल रहा था। इस बीच, राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग (एनएचआरसी) ने तमिलनाडु सरकार को नोटिस जारी कर जहरीली शराब से होने वाली मौतों पर रिपोर्ट मांगी है। आयोग ने घटना का संज्ञान लेते हुए मुख्य सचिव और पुलिस महानिदेशक को चार सप्ताह के भीतर रिपोर्ट दर्ज करने और घटना के संबंध में की गई कार्रवाई का निर्देश दिया।

मेथनॉल के सेवन से हुई मौतें : तोंगहट

तमिलनाडु के पुलिस महानिदेशक सी सिलेंद्र बाबू तोंगहट ने कहा कि विल्लुपुरम और चेंगलपट्टू जिलों में शराब की दोहरी त्रासदी में 21 लोगों की मौत मेथेनॉल का सेवन करने के कारण हुई है।
तोंगहट ने एक बयान में प्रयोगशाला की रिपोर्ट का हवाला देते हुए कहा कि औद्योगिक उपयोग के लिए मेथनॉल का सेवन पीड़ितों द्वारा किया गया था, जिससे ये मौतें हुईं। यह अवैध शराब नहीं थी।

उन्होंने कहा कि दोनों घटनाओं में मेथनॉल एक ही स्रोत था। उन्होंने कहा कि विक्रेताओं और आपूर्तिकर्ताओं को गिरफ्तार कर लिया गया। पीड़ितों द्वारा खाए गए पदार्थ के रासायनिक विश्लेषण से पुष्टि हुई कि यह मेथनॉल था।

डीजीपी ने राज्य में अवैध शराब के खात्मे के लिए पुलिस द्वारा उठाए गए कदमों पर कहा कि 2022 में ताड़ी विक्रेताओं के खिलाफ 1,40,649 मामले दर्ज किए गए थे और 1,39,697 संदिग्धों को गिरफ्तार किया गया और 37,217 लीटर अवैध शराब बरामद कर उसे नष्ट कर दिया गया। इस वर्ष अब तक 55,474 प्रकरण दर्ज कर 55,173 अभियुक्तों को गिरफ्तार कर 2,55,078 लीटर अवैध शराब को नष्ट किया गया है।