होशंगाबाद। मध्यप्रदेश के होशंगाबाद में सरकारी अस्पताल के एक डॉक्टर सुनील मंत्री ने अपने ही ड्राइवर की जघन्य हत्या कर दी। शव के टुकड़े टुकड़े कर एसिड से भरे ड्रम में डाल दिए। हत्यारा डॉक्टर सोमवार शाम से आज दोपहर तक अपने घर के अंदर ही शव के टुकड़े करता रहा। उसकी संदिग्ध गतिविधियों से पुलिस को इसकी भनक लग गई और मामले का खुलासा हो गया।
होशंगाबाद रेंज के पुलिस महानिरीक्षक केसी जैन ने बताया की अपने ड्राइवर की पत्नी से अवैध सम्बन्ध छुपाने के लिए सरकारी अस्पताल के मेडिकल ऑफिसर डॉ सुनील मंत्री ने अपने ड्राइवर का बेहरहमी से हत्या कर दी।
ड्राइवर की लाश के आरी से दो दर्जन से अधिक छोटे छोटे टुकड़े कर एसिड से भरे ड्रम में डाल दिए। हत्यारा डॉ मंत्री ने मृतक ड्राइवर वीरू पचोरी को पहले बेहोशी का इंजेक्शन देकर बेहोश किया। उसके बाद उसका गला कटा और फिर लकड़ी काटने वाली आरी से बीरू के शव के टुकड़े टुकड़े कर दिए।
जैन ने बताया कि डॉ मंत्री सोमवार शाम से मंगलवार दोपहर तक शव के टुकड़े करता रहा। हत्यारे डॉ सुनील मंत्री का बाजार से एसिड की बोतलों की पेटिया खरीदना और रात भर उसकी संदिग्ध गतिविधियों की भनक पुलिस के मुखबिरों के जरिये मिल गई। आज दोपहर को पुलिस हत्यारे डॉ मंत्री के घर धमक गई और डॉ मंत्री को शव के टुकड़े करते हुए रंगे हाथों पकड़ा गया।
दरअसल वीरू को डॉ सुनील मंत्री का उसकी पत्नी से अवैध सम्बन्ध होने का शक था। इसलिए वह डॉ सुनील मंत्री को कई बार धमका चुका था। डॉ सुनील मंत्री से वीरू पचोरी को रस्ते हटाने के लिए पूरी योजना बनाई थी। वह रविवर से शहर की विभिन्न हार्डवेयर की दुकानों से भरी मात्रा में एसिड खरीद कर लाया था। एसिड को एक ड्रम में इकठ्ठा कर उसमे वीरू के लाश के टुकड़े उसमे गला रहा था।
पुलिस के मुताबिक डॉ सुनील मंत्री की पत्नी घर में बुटीक का काम करती थी। उसके साथ 2008 से मृतक बीरू पचोरी की पत्नी काम करती थी। दो साल पहले डॉ सुनील मंत्री की पत्नी की मौत हो गई। उसके बाद वीरू पचोरी की पत्नी डॉ सुनील मंत्री के घर ही बुटीक का काम करने लगी। कई दिनों से वीरू को उसकी पत्नी के डॉ सुनील मंत्री से अवैध सम्बन्ध होने का शक था। इस बात को लेकर उसने डॉ सुनील मंत्री को कई बार धमकाया।
बताया गया है कि सोमवार को डॉ सुनील मंत्री ने वीरू को कहा की वे उसका ड्राइवर वन जाए हमेशा उसके साथ रहेगा। वीरू ने कल ही डॉ की कार चलाना शुरू किया। उसके बाद डॉ सुनील मंत्री को लेकर इटारसी सरकारी अस्पताल गया। वहां वीरू ने डॉ मंत्री को बताया की उसके दांत में दर्द है।
डॉ मंत्री ने उसे अस्पताल से दवाएं दिलाई और शाम को घर आ गए। उसके बाद वीरू ने फिर दांत दर्द की शिकायत की तो डॉ सुनील मंत्री ने ड्राइवर वीरू को धोखे से बेहोशी का इंजेक्शन लगाकर उसकी ह्त्या कर दी।