जयपुर। राजस्थान में भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश उपाध्यक्ष सुनील कोठारी ने कहा है कि मध्य प्रदेश सरकार ने मिड-डे-मील में प्रोटीन के नाम पर स्कूली बच्चों को अण्डे परोसने का फैसला किया है जो सनातनी संस्कारों वाले बच्चों को धार्मिक भावनाओं को आहत पहुंचाने का ही काम किया है।
कोठारी ने आज यहां एक बयान में कहा कि सरकार को इस तरह के निर्णय करते हुए देश की संस्कृति और परम्पराओं का भी ध्यान रखना चाहिए। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री कमलनाथ एवं उनके मंत्रियों को यह गलतफहमी है कि केवल नॉनवेज ही प्रोटीन का प्रमुख स्त्रोत है।
जबकि सत्यता यह है कि वनस्पतियों में प्रोटीन और फाइबर भी पाया जाता है, जो पाचन तंत्र और हड्डियों के लिए फायदेमंद है। इसके अलावा हर तरह की दालों, सब्जियों और फलों में भी प्रोटीन पाया जाता है जबकि चिकन, रेड मीट या अण्डे में मौजूद प्रोटीन में फाइबर नहीं होता।
उन्होंने इस निर्णय को धार्मिक मान्यताओं से खिलवाड़ करने वाला बताते हुए कहा कि जहाँ दुनिया शाकाहार की तरफ बढ़ रही है, ऐसे में मध्यप्रदेश की सरकार के द्वारा इस तरह का निर्णय करना कमलनाथ एवं कांग्रेस सरकार की देश की संस्कृति और परम्पराओं में समझ को दर्शाता है।