Warning: Constant WP_MEMORY_LIMIT already defined in /www/wwwroot/sabguru/sabguru.com/18-22/wp-config.php on line 46
अब राज्य से केन्द्र शासित प्रदेश बन जाएगा जम्मू कश्मीर - Sabguru News
होम Headlines अब राज्य से केन्द्र शासित प्रदेश बन जाएगा जम्मू कश्मीर

अब राज्य से केन्द्र शासित प्रदेश बन जाएगा जम्मू कश्मीर

0
अब राज्य से केन्द्र शासित प्रदेश बन जाएगा जम्मू कश्मीर

नई दिल्ली। देश के सबसे खूबसूरत राज्यों में से एक जम्मू-कश्मीर का गुरूवार को विधिवत विभाजन के साथ नक्शा बदल जाएगा और इसकी जगह दो केन्द्र शासित प्रदेश जम्मू कश्मीर और लद्दाख अस्तित्व में आ जाएंगे।

जम्मू कश्मीर हाईकोर्ट की मुख्य न्यायाधीश गीता मित्तल श्रीनगर में पूर्व नौकरशाह जीसी मुर्मू को जम्मू कश्मीर केन्द्र शासित प्रदेश के पहले उप राज्यपाल के तौर पर शपथ दिलाएंगी। इसके बाद वह लेह में राधा कृष्ण माथुर को लद्दाख के उप राज्यपाल की शपथ दिलाएंगी।

जम्मू कश्मीर की विधानसभा होगी जिसमें 114 सीटें होंगी और वहां का शासन मॉडल दिल्ली और पुड्डूचेरि पर आधारित होगा जबकि लद्दाख की विधानसभा नहीं होगी और यह उप राज्यपाल के माध्यम से सीधे केन्द्रीय गृह मंत्रालय के मातहत रहेगा।

सरकार ने गत छह अगस्त को संसद में जम्मू और कश्मीर पुनर्गठन विधेयक पारित किया था जिसमें राज्य को दो केन्द्र शासित प्रदेशों में बांटने का प्रावधान किया गया था। इन दोनों केन्द्र शासित प्रदेशों के अस्तित्व में आने की तारीख 31 अक्टूबर तय की गई थी। राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने 9 अगस्त को पुनर्गठन विधेयक को मंजूरी दे दी थी।

केन्द्र शासित प्रदेश बनने से जम्मू कश्मीर का विशेष दर्जा तो समाप्त हो ही गया है वहां का अलग संविधान और ध्वज तथा कानून भी निरस्त हो जाएंगे। अब वहां देश का संविधान और केन्द्र के कानून लागू हो जाएंगे। वहां पहली बार केन्द्र के 100 से भी अधिक कानून प्रभावी होंगे। इनमें सूचना का अधिकार, शिक्षा का अधिकार और आधार जैसे महत्वपूर्ण कानून भी शामिल हैं।

यह पहला मौका है जब किसी राज्य को विभाजित कर उसमें से दो केन्द्र शासित प्रदेश बनाए गए हैं। अब तक राज्यों का विभाजन कर नए राज्यों का ही गठन किया जाता रहा है। इसके साथ ही देश में जहां राज्यों की संख्या एक कम हो जाएगी वहीं केन्द्र शासित प्रदेशों की संख्या दो बढ जाएगी। देश में कुल राज्यों की संख्या घटकर 28 और केन्द्र शासित प्रदेशों की संख्या बढकर 9 हो जाएगी।

यह भी संयोग ही है कि जम्मू कश्मीर का विभाजन राष्ट्रीय एकता दिवस के दिन से प्रभावी होगा जो देश को एकता के सूत्र में पिरोने वाले लौह पुरूष कहे जाने वाले देश के पहले गृह मंत्री सरदार वल्लभभाई पटेल की जयंती पर देश भर में मनाया जाता है।

भारतीय जनता पार्टी ने लोकसभा चुनाव के प्रचार के दौरान वादा किया था कि वह सत्ता में आने पर जम्मू कश्मीर को विशेष दर्जा देने वाले संविधान के अनुच्छेद 370 को समाप्त कर देगी। दोबारा सत्ता में आने पर सरकार ने संसद के पहले ही सत्र में विधेयक पारित कर इससे संबंधित वादे को पूरा कर दिया। भारत को आजादी मिलने के बाद जम्मू कश्मीर का वर्ष 1947 में इसमें विलय हो गया था।

पुनर्गठन विधेयक पारित होने के बाद से राज्य के कई प्रमुख नेताओं को नजरबंद कर दिया गया था जिनमें से अधिकरतर अभी भी नजरबंद हैं। सरकार ने स्थिति को सामान्य बनाए रखने के लिए संचार सेवाओं को ठप कर दिया था और एक निश्चित अवधि तक कई क्षेत्रों में कर्फ्यू लागू रहा था।