

रांची प्रधानमंत्री किसान मानधन योजना (पीएम-किसान पेंशन) की शुरूआत झारखंड के रांची में हो गई। इस योजना में किसानों को हर महीने प्रीमियम होगा, तथा 60 साल की उम्र के बाद 3 हजार रुपए की पेंशन मिलेगी।
पीएम किसान मानधन योजना में किसान जितनी रकम का योगदान करेगा केंद्र सरकार भी उतनी ही रकम देगी। ये रकम किसान की उम्र के हिसाब से 55 रुपये से लगाकर 200 रुपये तक होगी। 2 हेक्टेयर जमीन वाले किसान इस स्कीम से जुड़ सकते हैं। किसानों को इस स्कीम से जुड़ने के लिए कॉमन सर्विस सेंटर (सीएससी) पर रजिस्ट्रेशन कराना होगा।
इस योजना की शुरुआत 9 अगस्त 2019 को की गई थी, जिसमें अभी तक केवल 8.36 लाख किसानों ने ही पंजीकरण कराया है जबकि पहले चरण में पांच करोड़ किसानों को इस योजना के दायरे में लाने का लक्ष्य है। इस योजना में किसानों को 60 साल की आयु पूरी करने होने पर 3,000 रुपये की मासिक पेंशन मिलेगी। किसान की मृत्यु होने की स्थिति में उसकी पत्नी को 1,500 रुपये की मासिक पेंशन मिलेगी।
प्रधानमंत्री किसान मानधन पेंशन योजना में शामिल होने के लिए किसानों को आधार कार्ड और बैंक पासबुक लेकर अपने नजदीकी सीएससी पर पंजीकरण करना होगा। एीएसपी का संचालन करने वाले वीएलई किसानों की सभी जानकारी लेकर ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन की प्रक्रिया पूरी करेंगे। प्रमाणीकरण की प्रक्रिया पूरी होने के बाद पंजीकरण कराने वाले किसानों को सूचना मिल जाएगी और उनका पीएमकेएमवाई का पेंशन कार्ड यूनिक पेंशन अकाउंट नंबर के साथ जेनरेट हो जाएगा।इस योजना के तहत पूरे देश के 2 हेक्टेयर तक की जोत वाले सभी छोटे और सीमांत किसानों को पेंशन मिलेगी। यह एक स्वैच्छिक और अंशदान पर आधारित पेंशन योजना है।
18 से 40 साल की उम्र के बीच के किसान इस योजना का लाभ ले सकते हैं। इस योजना का लाभ लेने के लिए उम्र के आधार पर किसानों को 55 रुपए से लेकर 200 रुपए तक का अंशदान देना होगा। इतना ही योगदान सरकार की ओर से किसान के पेंशन फंड में किया जाएगा।