अजमेर। राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत की संवेदनशीलता के मद्देनजर प्रदेश में फंसे मजदूरों को उनके गृह नगर पहुंचाने की पहल में आज अजमेर के मुख्य आगार कार्यालय से रोडवेज की 25 बसें ब्यावर में फंसे मजदूरों के लिए भिजवाई गई है।
अजयमेरु डिपो के प्रबंधक सुदीप शर्मा के अनुसार मुख्यालय के निर्देश पर केंद्रीय आगार से पच्चीस बसें ब्यावर में फंसे मजदूरों के लिए भिजवाई ग़ई है जिनमें से दस अजयमेरू आगार तथा पंद्रह अजमेर आगार की है। ये सभी बसें ब्यावर पहुंची है जहां पर ब्यावर रोडवेज प्रबंधक प्रशासनिक निर्देशानुसार मजदूरों को उनके गृह क्षेत्र पहुंचाने का काम करेगी।
इसके अलावा भरतपुर, करौली, हिण्डौन आदि के लिए भी बसों का प्रबंध किया जा रहा है। कुल चालीस बसों के लिए निर्देश प्राप्त हुए हैं। अजमेर आगार के मुख्य प्रबंधक पदमचंद जैन के अनुसार अजमेर से बसों की व्यवस्था की जा रही है लेकिन बसों में जहां भी मजदूर अपने गंतव्य के लिए प्रस्थान करेंगे उस दौरान सोशलडिस्टैंसिंग का पूरा ध्यान रखा जाएगा। एक बस में पच्चीस अथवा ज्यादा से ज्यादा 30 मजदूरों को ही बैठाने के निर्देश है।
प्रवासी बन्धुओं के घर लौटने पर नैतिक समर्थन देने की अपील
राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने लाकडाउन में अन्य राज्यों से घर लौटने पर प्रवासी राजस्थानी बन्धुओं को नैतिक समर्थन देने की लोगों से अपील की है।
गहलोत ने आज सोशल मीडिया पर यह अपील करते हुए कहा कि राजस्थान की संस्कृति का अनुसरण करते हुए कि हम अपने लोगों को कभी भी संकट में नहीं छोड़ते और प्रवासियों की उचित देखभाल करनी चाहिए।
उन्होंने कहा कि सभी प्रदेशवासियों की यह जिम्मेदारी है कि लंबे लाकडाउन की परेशानियों के बाद अन्य राज्यों से राजस्थान अपने घर लौटने वाले प्रवासी बन्धुओं को यहां कोई परेशानी न हो। उन्होंने कहा कि हर शहर, गांव, कस्बे के स्थानीय लोग यथासंभव इन्हें रहने, खाने, दवा, क्वारंटाइन सुविधा एवं भावनात्मक सहयोग प्रदान करे। राजस्थान की परम्परा एवं मानवता का उदाहरण पेश करे।
उन्होंने कहा कि अन्य राज्यों से समन्वय कर प्रवासी बन्धुओं को लाने के प्रयास किए जा रहे हैं और अगले कुछ दिनों में ये अपने घर पहुंचेंगे।