
लखनऊ। उत्तर प्रदेश में लोकसभा चुनाव के पांचवें चरण में सोमवार को सम्पन्न हुए मतदान में कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी (अमेठी), संयुक्त प्रगतिशील गठबंधन अध्यक्ष सोनिया गांधी (रायबरेली) और केन्द्रीय गृहमंत्री राजनाथ सिंह (लखनऊ), पूर्व केंद्रीय मंत्री जितिन प्रसाद (धौरहरा), उत्तर प्रदेश कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष निर्मल खत्री (फैजाबाद) और स्मृति इरानी (अमेठी) समेत 182 उम्मीदवारों के भाग्य का फैसला ईवीम में बंद हो गया।
राज्य के 16 जिलों की 14 लोकसभा सीटों पर 57.33 फीसदी मतदान हुआ। मतदान कड़ी सुरक्षा के बीच मतदान सुबह सात बजे शुरू हुआ जो शाम छह बजे तक चला। उन्होंने बताया कि कुछ मतदान केन्द्रों पर लम्बी कतार होने की वजह से मतदान छह बजे के बाद भी जारी था। इससे कुछ स्थानों पर प्रतिशत में कुछ अन्तर हो सकता है।
राज्य के संयुक्त मुख्य निर्वाचन अधिकारी रमेश चन्द्र राय ने यहां बताया कि 16 जिलों की 14 सीटों पर मतदान सुबह सात बजे से शुरु हुआ। नौ बजे तक 9.76 मतदान हुआ जबकि 11 बजे 22.88 प्रतिशत मतदान हुआ। दोपहर एक बजे तक 35.43 प्रतिशत, तीन बजे तक 45.07 तथा पांच बजे तक 53.19 मतदाताओं ने वोट डाले। उन्होंने बताया इस चरण में 57.33 प्रतिशत मतदाताओं ने अपने मताधिकार का प्रयोग किया। मतदान शान्ति पूर्वक संपन्न हुआ। कहीं से कोई अप्रिय घटना की सूचना नहीं मिली। इस बार पिछले चुनाव से करीब आध प्रतिशत मतदान अधिक हुआ है।
उन्होंने बताया कि मतदान केन्द्रों पर मतदाताओं की लम्बी कतार सुबह से ही लगनी शुरू हो गयी थी। कई मतदान केन्द्रों पर ईवीएम खराब होने की सूचना मिली थी जिसे समय रहते ठीक कर लिया गया था।
इस चरण में प्रतिशत मतदान हुआ। सर्वाधिक 64.00 प्रतिशत मतदान धौरहरा सीट पर जबकि सबसे कम प्रतिशत मतदान गोण्डा सीटी पर 51.80 हुआ। पांचवें चरण में धौरहरा, सीतापुर, मोहनलालगंज, लखनऊ, रायबरेली, अमेठी, बांदा, फतेहपुर, कौशांबी, बाराबंकी, फैजाबाद, बहराइच, कैसरगंज और गोंडा संसदीय क्षेत्रों में मतदान हुआ।
राय ने बताया कि सीतापुर में 62.66 प्रतिशत, मोहनलालगंज(सु) में 60.65 प्रतिशत, लखनऊ में 53.94 प्रतिशत, रायबरेली में 53.68 प्रतिशत, अमेठी में 53.20 प्रतिशत फतेहपुर में 55.08 प्रतिशत, कौशांबी(सु) में 53.60 प्रतिशत, बाराबंकी(सु) में 63.00 प्रतिशत, फैजाबाद में 60.40 प्रतिशत, बहराइच (सु) में 56.23 प्रतिशत, गाेण्डा में 51.80 प्रतिशत, घौरहरा 64.00 प्रतिशत और कैसरगंज में 54.87 प्रतिशत मतदाताओं ने वोट डाले।
इस चरण में कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी, संयुक्त प्रगतिशील गठबंधन अध्यक्ष सोनिया गांधी और केन्द्रीय गृहमंत्री राजनाथ सिंह, पूर्व केंद्रीय मंत्री जितिन प्रसाद, उत्तर प्रदेश कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष निर्मल खत्री और स्मृति इरानी समेत 182 उम्मीदवारों के भाग्य का फैसला छह बजे ईवीएम में बंद हो गया।
पांचवे चरण में ईवीएम और वीवीपैट मशीनों में खराबी की खबर आने के बीच केंद्रीय गृह मंत्री राजनाथ सिंह और बहुजन समाज पार्टी सुप्रीमो मायावती के अलावा बिहार के राज्यपाल लालजी टण्डन ने अपने मताधिकार का प्रयोग किया। लखनऊ, रायबरेली, अमेठी और अन्य जिलों में भी खराब हुई ईवीएम और वीवीपैट को बदलने के लिए अधिकारियों को कड़ी मशक्कत करनी पड़ी।
ईवीएम मशीनों की खराबी के कारण कई केन्द्रों पर मतदान देरी से शुरू हुआ। अकेले लखनऊ में 25 से अधिक ईवीएम और वीवीपैट को बदला गया, जिसके कारण करीब एक घंटे तक मतदान बाधित रहा । प्रदेश की राजधानी में नगर निगम के पोलिंग सेंटर पांच तथा जानकीपुरम के सेन्क्टर एच स्थित ब्राइट वे इन्टर कालेज के सेन्टर पर तीन बूथों में ईवीएम खराब होने की सूचना मिली जिसे समय रहते ठीक करा लिया गया।
राज्य की राजधानी में कई मतदान केन्द्रो पर सुबह से ही लम्बी कतारें देखी गई हालांकि ईवीएम खराब होने के कारण कई मतदाता मतदान शुरू होने से बिना वोट डाले लौट गए। स्वतंत्र और निष्पक्ष मतदान कराने के लिए लगभग डेढ़ लाख सुरक्षाकर्मी तैनात किए गए थे। इस चरण में केन्द्रीय बलों की 200 से अधिक कंपनियां तैनात की गई थी, जिन्होंने मतदाताओं में विश्वास जगाने के लिए संवेदनशील क्षेत्रों में फ्लैग मार्च किया था।
स्वतंत्र और निष्पक्ष चुनाव कराने के लिए प्रतापगढ़ के अधिकारियों ने दो विधायकों समेत आठ वरिष्ठ राजनेताओं को घर में नजरबंद कर दिया था। जिसमें रघुराज प्रताप सिंह उर्फ राजा भैया और विनोद सरोज शामिल थे। इस चरण में लोकसभा की 14 सीटों पर कुल 182 उम्मीदवार चुनाव मैदान में हैं।
उन्होंने बताया कि इस चरण के साथ-साथ ही आज चौथे चरण के दस मतदेय स्थलों पर भी पुनर्मतदान मतदान हुआ, जिसमें शाहजहांपुर लोकसभा सीट के आठ मतदेय स्थलों 45़ 92 प्रतिशत जबकि हमीरपुर के एक मतदेय स्थल पर 65.76 प्रतिशत और आगरा (सु) लोकसभा सीटों में एक मतदेय स्थल पर 52.30 प्रतिशत वोट डाले गए।
इस चरण में कुल 2.50 करोड़ मतदाताओं ने अपने मताधिकार का प्रयोग किया। जिसमें 1.34 करोड़ पुरुष, 1.16 करोड़ महिला और 1301 थर्ड जेंडर थे। इस चरण में कुल 28,100 मतदान केन्द्र बनाए गए थे। जिनमें 3270 अति संवेदनशील चिन्हित किए गए थे। 2778 बूथों पर वेबकास्टिंग कराई गई। इस चरण में 2143 माइक्रो ऑब्जर्वर तैनात किए गए थे।
राज्य के मुख्य निर्वाचन अधिकारी वेंकेश्वर लू ने सोमवार को यहां बताया कि मतदान सुचारू रूप संपन्न हुआ। उन्होंने कहा कि कुछ मतदान केन्द्रों पर ईवीएम में कुछ तकनीकी खामियों को छोड़कर मतदान शांतिपूर्वक सम्पन्न हुआ। उन्होंने बताया कि इस चरण में 2,145 सेक्टर मजिस्ट्रेटों, 273 जोनल मजिस्ट्रेटों और 262 स्टेटिक मजिस्ट्रेटों के साथ इस चरण में लगभग 1,25,000 मतदान कर्मियों को तैनात किया था।
केन्द्रीय गृह मंत्री एवं लखनऊ से सांसद राजनाथ सिंह ने गोमतीनगर में स्कॉलर्स होम स्कूल में सुबह साढ़े सात बजे बजे मतदान किया। मतदान के बाद सिंह ने पत्रकारों से कहा कि इस बार जीत का अंतर पहले से बेहतर रहेगा। भारतीय जनता पार्टी एक बार फिर पूर्ण बहुमत के साथ सरकार बनाएगी।
सिंह ने लोगों से अधिक अधिक सख्या में घरों से निकलकर मतदान करने की अपील की। उन्होंने कहा मतदान लोकतंत्र के हित में है। लखनऊ में महागठबंधन तथा कांग्रेस का कोई असर नहीं है। मुझे महागठबंधन की प्रत्याशी के बारे में कुछ भी नहीं कहना है। मैं समझता हूं कि कोई भी चुनाव मुद्दों के आधार पर होता है न कि किसी व्यक्ति के आधार पर।
गृह मंत्री सुबह अपनी पत्नी, दोनों पुत्र तथा पुत्रवधू के साथ मतदान केन्द्र में पहुंचे। नोएडा से विधायक राजनाथ सिंह के पुत्र पंकज सिंह ने कहा, इस बार 412 का टारगेट है। पहले मतदान फिर जलपान का नारा देते हुए उन्होंने कहा कि जीत का अंतर लखनऊ में पिछली बार से ज्यादा होगा, क्योंकि राजनाथ सिंह ने काफी काम कराया है।
बहुजन समाज पार्टी अध्यक्ष मायावती ने लखनऊ में लाल बहादुर शास्त्री मार्ग स्थित लखनऊ मांटेसरी स्कूल में मतदान किया। पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि देश हित में मतदान करने की अपील की। उन्होंने कहा कि लोग घरों से निकलकर ज्यादा से ज्यादा संख्या में अपने मताधिकार का प्रयोग करें। हर किसी को अपने मताधिकार का प्रयोग करना चाहिए।
उन्होंने कहा कि मत का अधिकार गरीबी और अमीरी में भेदभाव नहीं करता। सभी लोग घरों से निकलें और वोट डालें। एक भी वोट बर्बाद नहीं जाना चाहिए।
पांचवे चरण में अमेठी संसदीय सीट से सर्वाधिक 27 प्रत्याशी मैदान में हैं। धौरहरा और बांदा सीट पर सिर्फ आठ-आठ प्रत्याशी हैं। इस चरण में महिला प्रत्याशियों की संख्या 26 है। भाजपा और कांग्रेस के 14-14 बसपा के पांच, सपा के सात, सीपीआइ (कम्युनिस्ट पार्टी ऑफ इंडिया) का एक उम्मीदवार मैदान में हैं।
2014 में भाजपा ने 14 में से 12 सीट पर जीत दर्ज की थी। गठबंधन से 14 में से सात सीट पर समाजवादी पार्टी व पांच पर बहुजन समाज पार्टी के प्रत्याशी मैदान में हैं। गठबंधन ने अमेठी व रायबरेली में कोई प्रत्याशी नहीं उतारा है।
कौशांबी संसदीय सीट के लिए शांतिपूर्ण मतदान का हवाला देतेे हुए जिला प्रशासन नेे पूर्व मंत्री रघुराज प्रताप सिंह (राजा भैया), बाबागंज विधायक विनोद सरोज समेत नौ नेताओं को पाबंद कर दिया था। ये सभी नेता सोमवार को सिर्फ वोट देने मतदान केन्द्र तक गए।
कौशांबी सीट के लिए प्रतापगढ़ में सोमवार को वोट डाले गये। प्रशासन ने सपा जिलाध्यक्ष छविनाथ यादव, जिला पंचायत सदस्य प्रकाश सिंह, पूर्व ब्लाक प्रमुख हितेश सिंह उर्फ पंकज सिंह, कालाकांकर ब्लाक प्रमुख बीएन सिंह, कुंडा ब्लाक प्रमुख संतोष सिंह, बिहार ब्लाक प्रमुख अनुभव यादव को भी उनके घर में पाबंद कर दिया था।
पांचवें चरण में सबसे दिलचस्प मुकाबला अमेठी सीट पर है। यहां कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी को केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी से कड़ी टक्कर मिल रही है। यहां पर सपा-बसपा गठबंधन ने कांग्रेस के समर्थन में अपना प्रत्याशी नहीं उतारा लेकिन, कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी का अमेठी के साथ पहली बार किसी दूसरी सीट केरल के वायनाड क्षेत्र से चुनाव लड़ रहे है। गांधी की बहिन प्रियंका गांधी वाड्रा ने इस सीट पर काफी मेहनत की।
गांधी परिवार की परंपरागत रायबरेली संसदीय क्षेत्र से संप्रग अध्यक्ष अध्यक्ष सोनिया गांधी 15 प्रत्याशी चुनाव मैदान में है। सोनिया गांधी इस सीट से पांचवीं बार चुनाव मैदान में हैं। सपा-बसपा गठबंधन तो सोनिया गांधी के समर्थन में वाक ओवर दे चुका है जबकि भाजपा ने यहां से कांग्रेस के बागी एमएलसी दिनेश प्रताप सिंह को उतारा। दिनेश प्रताप सिंह कभी गांधी परिवार के बेहद नजदीकी माने जाते थे।
गठबंधन का उम्मीदवार न होने से यहां कांग्रेस और भाजपा के बीच सीधा मुकाबला है। सेहत खराब होने की वजह से सोनिया गांधी इस सीट पर चुनाव प्रचार के लिए ज्यादा वक्त नहीं निकाल पाई। उनके चुनाव की कमान प्रिंयका गांधी वाड्रा ने संभाली थी।
उत्तर प्रदेश में 2019 में हुए लोकसभा चुनाव में पहले चरण में आठ सीटों पर गत 11 अप्रैल को 63.69 प्रतिशत मतदान हुआ था। दूसरे चरण की आठ सीटों पर 62.39 प्रतिशत मतदान हुआ था। तीसरे चरण में दस सीटों पर 60.52 प्रतिशत मतदान हुआ था। चौथे चरण में 18 जिलों के 13 संसदीय क्षेत्रों में 57.58 प्रतिशत मतदान हुआ।
राज्य की 80 लोकसभा सीटों में से अब तक 53 सीटों पर मतदान हो चुका है जबकि छठे चरण में 12 मई को 14 और सातवें एवं अंतिम चरण में 13 सीटों पर 19 मई को मतदान होना है।