नई दिल्ली चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग 11 अक्तूबर को दो दिवसीय दौरे पर दूसरी अनौपचारिक वार्ता के लिए भारत आ रहे हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से जिनपिंग की मुलाकात दिल्ली में न होकर तमिलनाडु के महाबलीपुरम में होनी प्रस्तावित है।
प्रधानमंत्री और चीनी राष्ट्रपति के बीच बातचीत के इतर दोनों देशों के विदेश मंत्री भी अलग से बैठक करके विभिन्न मुद्दों पर चर्चा करेंगे। डोभाल भी बैठक में शामिल हो सकते हैं।
सूत्रों ने बताया कि शी जिनपिंग शुक्रवार को दोपहर में विशेष विमान से चेन्नई में उतरेंगे। शाम को वह मोदी के साथ मामल्लापुरम या महाबलीपुरम के मंदिरों विशेष कर ‘शोर टेंपल’ का भ्रमण करते हुए बातचीत करेंगे। शाम को कला क्षेत्र में एक सांस्कृतिक कार्यक्रम को भी वह देखेंगे। अगले दिन एक रिसॉर्ट में दोनों नेता एकांत में बैठक करेंगे और बाद में प्रतिनिधिमंडल स्तर की बैठक करेंगे। उन्होंने बताया कि चीनी राष्ट्रपति शनिवार को अपराह्न करीब दो बजे अगले गंतव्य के लिए रवाना हो जाएंगे।
सूत्रों ने कहा कि वुहान में हुई पहली अनौपचारिक शिखर वार्ता की तरह इस बार में बातचीत का कोई तय एजेंडा नहीं है। बैैठक के बाद ना किसी समझौते पर हस्ताक्षर किये जाएंगे और न ही कोई संयुक्त वक्तव्य या दस्तावेज जारी किया जाएगा।
मामल्लापुरम के चयन के बारे में सवालों पर उन्होंने कहा कि मामल्लापुरम के चोल एवं पल्लव राजाओं के समय चीन के फुचियान प्रांत के साथ व्यापारिक, धार्मिक एवं सांस्कृतिक संबंध थे। इतिहास एवं संस्कृति के विषयों में गहरी रुचि रखने वाले शी जिनपिंग फुचियान प्रांत के रहने वाले हैं और वह उस प्रांत के गवर्नर रह चुके हैं। उन्होंने यह भी कहा कि चीनी यात्री ह्वेनसांग ने कांचीपुरम की यात्रा की थी और अपने संस्मरणों में कांचीपुरम एवं मामल्लापुरम के बारे में लिखा था।