नई दिल्ली। कांग्रेस ने आरोप लगाया है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने संसदीय क्षेत्र वाराणसी में कोई वादा पूरा नहीं कर लोगों को धोखा दिया है तथा कोई वादा पूरा नहीं किया है और उन्हें अपनी हार का एहसास हो गया है इसलिए उनका डगमगता आत्मविश्वास स्पष्ट नजर आ रहा है।
कांग्रेस प्रवक्ता राजीव शुक्ला ने शुक्रवार को पार्टी मुख्यालय में संवाददाता सम्मेलन में कहा कि नामांकन भरने के दौरान मोदी ने एक तरह से स्वीकार कर लिया है कि वह यह चुनाव हार रहे हैं।
उन्होंने कार्यकर्ताओं से कहा है कि वे यह सोचकर चुप नहीं बैठें कि जीत रहे हैं बल्कि बड़ी तादाद में वोट करें और लोगों को भी मतदान के लिए कहें। उन्होंने कहा कि यह स्वर उनके कमजोर पड़ते आत्मविश्वास का है और इससे कांग्रेस का यह विचार सत्य साबित होता है कि मोदी वाराणसी सीट से हार रहे हैं।
उन्होंने कहा कि वाराणसी के लोगों को मालूम है कि उनके सांसद तथा देश के प्रधानमंत्री ने किस तरह से उनके साथ छल किया है। पांच साल पहले गंगा पुत्र बनकर वाराणसी गए और यह कहते हुए चुनाव लड़े थे कि मां गंगा ने उसे स्वच्छ बनाने के लिए उन्हें बुलाया है और वह गंगा को फिर उसके पवित्र स्वरूप में स्थापित करेंगे।
प्रवक्ता ने कहा कि पांच साल में गंगा साफ नहीं हुई है। वह खुद कार्यकर्ताओं से कह रहे हैं कि जहां उनकी कमी दिखे वहां शोर शुरू कर दो और उनका वाराणसी का गुरुवार का रोड शो भी इसी कड़ी में अपनी नाकामयाबियों को छिपाने का प्रयास था।
शुक्ला ने कहा कि वाराणसी को क्योटाे शहर बनाने का पांच साल पहले वादा करने वाले मोदी ने इस शहर की शान को ही उल्टा नुकसान पहुंचाया है। वह न सिर्फ गंगा को निर्मल बनाने में असफल रहे हैं बल्कि उन्होंने वाराणसी की स्वस्थ सांस्कृतिक धरोहर को भी क्षति पहुंचाई है।
उन्होंने कहा कि काशी को क्योटाे बनाने की श्री मोदी की बात जुमला साबित हुई है। श्री मोदी ने प्रधानमंत्री आदर्श ग्राम योजना के तहत जिन गांवों का विकास करने की बात की थी वह भी खोखली ही साबित हुई है। उन्होंने जिन गांवों के विकास का जिम्मा लिया वहां कोई काम नहीं हुआ है।
प्रवक्ता ने कहा कि गंगा की सफाई से संबंधित 254 परियोजनाएं मंजूर की गई थीं लेकिन सिर्फ 75 परियोजनाओं पर ही काम पूरा हुआ है और 70 प्रतिशत परियोजनाओं का काम अधूरा है। नवंबर 2018 तक इन परियोजनाओं के लिए 24672 करोड रुपए में से सिर्फ 6133 करोड रुपए जारी किए गए हैं।
उन्होंने कहा कि 2017 के विधानसभा चुनाव में मोदी ने वाराणसी को 24 घंटे बिजली देने की बात की थी लेकिन शहर को आठ घंटे भी बिजली नहीं मिल पा रही है। वाराणसी में मोदी का स्वच्छ भारत अभियान पूरी तरह से असफल रहा है। वहां महज 48 प्रतिशत घरों में ही शौचालयों का निर्माण हुआ है।