पटना। लोक जनशक्ति पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष चिराग पासवान के खिलाफ बगावत कर लोकसभा में संसदीय दल का नेता बने बिहार के हाजीपुर से सांसद पशुपति कुमार पारस के आज यहां पहुंचने पर उनके समर्थकों ने जोरदार स्वागत किया।
पारस के साथ पार्टी के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष एवं लोजपा पारस गुट के कार्यकारी अध्यक्ष सूरजभान सिंह और उनके भाई नवादा के सांसद चंदन सिंह भी यहां पहुंचे। सभी का पटना के जयप्रकाश नारायण हवाई अड्डा पर ढोल नगाड़े के साथ स्वागत किया गया। पारस ने समर्थकों का हाथ जोड़कर अभिवादन किया। यह शक्ति प्रदर्शन पारस के दम की बजाय पूर्व सांसद सिंह के बूते देखने को मिला।
हवाई अड्डा से निकलने के बाद पारस और सिंह अपने समर्थकों के साथ सीधे लोजपा प्रदेश कार्यालय के लिए रवाना हो गए। इस दौरान पारस समर्थकों को देखकर विरोध की मंशा पाले चिराग समर्थकों ने शांत रहना ही बेहतर समझा। बाद में चिराग समर्थकों ने पारस को प्रदेश कार्यालय में प्रवेश करने से रोकने की योजना बनाई और रास्ता रोकने की कोशिश भी की, जिसमें दोनों तरफ के समर्थक उलझ गए।
मौके पर मौजूद पुलिस ने लाठीचार्ज कर काला झंडा दिखा रहे चिराग समर्थकों को खदेड़ दिया। पारस ने बाद में लोजपा कार्यालय में पत्रकारों से बातचीत में अपने भतीजा और जमुई के सांसद चिराग पासवान की ओर से लगाए गए आरोपों को गलत बताया और कहा कि चिराग पासवान एक साथ संसदीय बोर्ड के अध्यक्ष, सदन में नेता और राष्ट्रीय अध्यक्ष का पद संभाल रहे थे जो पूरी तरह से गलत था। लोजपा सांसद ने कहा कि पार्टी संविधान में स्पष्ट उल्लेख है कि एक नेता एक पद धारण करेगा।
पारस ने कहा कि पार्टी की बैठक में चिराग पासवान को राष्ट्रीय अध्यक्ष के पद से हटा दिया गया है। उन्होंने कहा कि कल राष्ट्रीय कार्यकारिणी की होने वाली बैठक में तय होगा कि राष्ट्रीय अध्यक्ष कौन होगा।
वहीं पूर्व सांसद सूरजभान सिंह ने कहा कि यदि पासवान को सद्बुद्धि आ जाए तो वह कल की बैठक में आ जाएंगे। पासवान की लोजपा अभी भी है, बशर्ते वह मान लें कि थोड़े दिन पार्टी का नेतृत्व चाचा पारस करेंगे। उन्होंने कहा कि वह सब को जोड़ना चाहते हैं न कि तोड़ना। पासवान ने इतने दिनों तक पार्टी चलाई है और अब उनके चाचा चलाना चाहते हैं तो इसमें उन्हें एतराज नहीं होना चाहिए।