
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अजमेर। राजस्थान में अजमेर स्थित ख्वाजा मोईनुद्दीन हसन चिश्ती की दरगाह और तीर्थराज पुष्कर में पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के स्वास्थ्य को लेकर दुआएं और पूजा अर्चना की गई।
तीर्थराज पुष्कर सरोवर पर पुरोहितों ने वाजपेयी के स्वास्थ्य की कामना को लेकर दुग्धाभिषेक किया तथा पूजा अर्चना की। पुष्कर नगर पालिका के पार्षद शिवस्वरुप महर्षि एवं वेदप्रकाश पाराशर ने उनके दीर्घायु होने की कामना की। महर्षि ने बताया कि वाजपेयी तीन बार पुष्कर आ चुके हैं। वर्ष 1992 में सूखे पुष्कर सरोवर के लिए उन्होंने चिंता जाहिर की थी।
दूसरी ओर सूफी संत ख्वाजा गरीब नवाज की दरगाह में भी वाजपेयी के स्वास्थ्य को लेकर दुआ की गई। खादिम अब्दुल बारी चिश्ती ने आस्ताने शरीफ में विशेष अरदास की और ख्वाजा साहब से वाजपेयी के शीघ्र स्वास्थ्य की कामना की।
अब्दुल बारी चिश्ती ने बताया कि वाजपेयी की ख्वाजा गरीब नवाज में गहरी आस्था थी और वह कौमी एकता के सदैव पक्षधर रहे। यही कारण रहा कि उन्होंने 1977 से नियमित ख्वाजा गरीब नवाज के सालाना उर्स में चादर पेश करने का सिलसिला बदस्तूर जारी रखा।
अस्वस्थ होने की स्थिति में भी उनकी ओर से निजी सहायक पंडित शिव कुमार शर्मा चादर पेश करते आए हैं। वाजपेयी अजमेर में एक कवि की हैसियत से भी कवि सम्मेलन में हिस्सा ले चुके हैं। उनके सरल एवं शालीन व्यवहार के प्रति लोग आज भी कायल है।