नयी दिल्ली । कांग्रेस ने राफेल विमान सौदे के बारे में उच्चतम न्यायालय को गुमराह करने के लिए राज्यसभा के साथ-साथ लोकसभा में भी विशेषाधिकार हनन का नोटिस दिया है।
पंजाब के गुरदासपुर से कांग्रेस सांसद सुनील जाखड़ ने राफेल सौदे के मामले में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के खिलाफ लोकसभा में विशेषाधिकार हनन का नोटिस दिया है। राज्यसभा में विपक्ष के नेता गुलाम नबी आजाद ने भी इसी मामले में सरकार के खिलाफ विशेषाधिकार हनन का नोटिस दिया है। लोकसभा अध्यक्ष सुमित्रा महाजन ने सदन में बताया कि उन्हें कुछ सदस्यों से विशेषाधिकार हनन के नोटिस मिले हैं और वे उनके विचाराधीन हैं।
जाखड़ ने अपने नोटिस में कहा है कि श्री मोदी ने राफेल विमान सौदे के बारे में जानबूझकर उच्चतम न्यायालय और सदन को गुमराह किया और इसलिए वह उनके खिलाफ विशेषाधिकार हनन का नोटिस दे रहे हैं। उन्होंने कहा “अब यह स्पष्ट हो गया है कि इस रक्षा सौदे में कीमत पर अपने पक्ष को सही ठहराने के लिए सरकार ने शीर्ष अदालत के समक्ष गलत तथ्य रखे। उच्चतम न्यायालय ने महालेखा परीक्षक (कैग) की जिस रिपोर्ट को अपने फैसले का आधार बनाया वह रिपोर्ट अस्तित्व में ही नहीं है तथा संसद की लोक लेखा समिति के साथ साझा नहीं की गयी है।”
उन्होंने लिखा है कि यह उच्चतम न्यायालय के समक्ष महत्त्वपूर्ण तथ्यों को गलत तरीके से पेश करने का मामला है। सरकार ने न सिर्फ शीर्ष अदालत को गुमराह किया है, उसने संसद और उसकी लोक लेखा समिति पर भी कलंक लगाया है।
उल्लेखनीय है कि उच्चतम न्यायालय द्वारा राफेल सौदे के बारे में दायर सभी याचिकाओं को खारिज किये जाने के बाद सत्तारूढ भारतीय जनता पार्टी और कांग्रेस के बीच आरोप-प्रत्यारोप का दौर तेज हो गया है। जहां कांग्रेस ने सरकार पर इस सौदे के बारे में देश को गुमराह करने का आरोप लगाया है वहीं भाजपा कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी पर झूठ बोलने का आरोप लगाते हुए मांग कर रही है कि वे इसके लिए देश से माफी मांगे।
इस बीच उच्चतम न्यायालय के राफेल सौदे से संबंधित फैसले में नियंत्रक एवं महालेखा परीक्षक (कैग) तथा संसद की लोक लेखा समिति (पीएसी) के संदर्भ को लेकर मचे बवाल के बाद केन्द्र सरकार ने उच्चतम न्यायालय में एक याचिका दायर कर इसमें तथ्यात्मक सुधार का अनुरोध किया है।