ब्यावर/अजमेर। मुख्यमंत्री वसुन्धरा राजे शनिवार को ब्यावर पहुंची और सिलेंडर फटने से हुए हादसे में मारे गए लोगों के परिजनों से मिलकर उन्हें सांत्वना दी। उन्होंने मृतकों के परिजनों को दो-दो लाख रुपए एवं घायलों को 50-50 हजार रुपए मुख्यमंत्री सहायता कोष से देने की घोषणा की। इसके अलावा मृतकों के परिजनों को श्री सीमेन्ट की ओर से भी एक-एक लाख रुपए दिए जाने की घोषणा की गई।
राजे ने राजकीय अमृतकौर चिकित्सालय, ब्यावर एवं जवाहर लाल नेहरू चिकित्सालय अजमेर में भर्ती घायलों से मुलाकात कर कुशलक्षेम पूछी। उन्होंने चिकित्सकों को निर्देश दिए कि घायलों के उपचार में किसी तरह की कोताही नहीं बरती जाए।
मुख्यमंत्री ने जिला प्रशासन और राहत कार्य में लगी टीमों को निर्देश दिए कि अभी भी कुछ लापता लोग मलबे में दबे हो सकते हैं। ऐसे में राहत कार्य पूरी तरह तकनीकी रूप से एवं सावधानी पूर्वक चलाए जाएं ताकि अगर कोई मलबे में जीवित हो तो उसे सुरक्षित बाहर निकाला जा सके। उन्होंने राहत कार्य शीघ्र शुरू करने के लिए जिला प्रशासन की सराहना की।
राजे ने कहा कि गैस सिलेण्डर विस्फोट से जिन मकानों को क्षति पहुंची है, उन मकानों का पीडब्ल्यूडी से आकलन कराकर नुकसान का मुआवजा दिया जाएगा। उन्होंने अजमेर कलक्टर गौरव गोयल को निर्देश दिए कि इस संबंध में यथाशीघ्र कार्यवाही प्रारम्भ कर पीड़ितों को राहत प्रदान करें। उन्होंने हादसे के कारणों और अब तक किए गए राहत एवं बचाव कार्यों की भी जानकारी ली।
सेना ने संभाला मोर्चा, जल्द हटेगा मलबा
मुख्यमंत्री ने नसीराबाद छावनी के अधिकारियों से बातचीत कर निर्देश दिए कि हादसे से जमा मलबे को हटाने में सेना भी मदद करे। इसके बाद सेना ने भी राहत कार्यों में प्रशासन की मदद शुरू कर दी।
पानी और बिजली व्यवस्था सुचारू करने के निर्देश
राजे ने अजमेर विद्युत वितरण निगम के प्रबंध निदेशक को निर्देश दिए कि क्षेत्र की विद्युत व्यवस्था को सुचारू करें। इसी तरह जलदाय विभाग के प्रमुख शासन सचिव को निर्देश दिए कि पेयजल एवं लाइनों से संबंधित समस्या तत्काल दूर करें।
मुख्यमंत्री के साथ चिकित्सा मंत्री कालीचरण सर्राफ, शिक्षा राज्यमंत्री वासुदेव देवनानी, महिला एवं बाल विकास राज्य मंत्री अनिता भदेल, स्थानीय विधायक शंकर सिंह रावत, संभागीय आयुक्त हनुमान सहाय मीना, पुलिस महानिरीक्षक मालिनी अग्रवाल सहित अन्य अधिकारी भी थे।