नई दिल्ली। प्रतिष्ठित खेल रत्न पुरस्कार का नाम बदलकर मेजर ध्यानचंद खेल रत्न पुरस्कार कर दिया गया है। पहले यह पुरस्कार पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी के नाम पर राजीव गांधी खेल रत्न पुरस्कार था।
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने ट्वीट कर इसकी जानकारी दी है। मोदी ने शुक्रवार को ट्वीट कर कहा कि देश को गर्वित कर देने वाले पलों के बीच अनेक देशवासियों का ये आग्रह भी सामने आया है कि खेल रत्न पुरस्कार का नाम मेजर ध्यानचंद जी को समर्पित किया जाए। लोगों की भावनाओं को देखते हुए, इसका नाम अब मेजर ध्यानचंद खेल रत्न पुरस्कार किया जा रहा है।
एक अन्य ट्वीट में उन्होंने कहा कि ओलंपिक खेलों में भारतीय खिलाड़ियों के शानदार प्रयासों से हम सभी अभिभूत हैं। विशेषकर हॉकी में हमारे बेटे-बेटियों ने जो इच्छाशक्ति दिखाई है, जीत के प्रति जो ललक दिखाई है, वो वर्तमान और आने वाली पीढ़ियों के लिए बहुत बड़ी प्रेरणा है।
प्रधानमंत्री ने कहा कि मेजर ध्यानचंद भारत के प्रमुख खिलाड़ियों में शुमार थे। उन्होंने देश को सम्मान और गौरव दिलाया। यह उचित है कि हमारे देश के सर्वोच्च खेल सम्मान का नाम उनके नाम पर रखा जाए।
यह निर्णय भारतीय पुरुष हाकी टीम द्वारा टोक्यो ओलंपिक में कांस्य पदक जीते जाने के एक दिन बाद लिया गया है। मेजर ध्यानचंद हाकी के शानदार खिलाड़ी के रूप में दुनिया भर में विख्यात थे और उन्हें हाकी का जादूगर कहा जाता है। मेजर ध्यानचंद के बल पर ही भारत ने विश्व स्तर पर हाकी में बादशाहत साबित की थी और उनकी बदौलत ही देश ने 1928, 1932 और 1936 ओलंपिक खेलों में स्वर्ण पदक जीता।