नयी दिल्ली । तृणमूल कांग्रेस से निलंबित सांसद कुणाल घोष ने कहा कि पुलिस के शीर्ष अधिकारी ने सबूत मिटाने के प्रयास किये हैं। भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने केन्द्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) की कार्रवाई के एक दिन बाद कहा कि कोलकाता पुलिस आयुक्त राजीव कुमार शरदा चिट फंड घोटाले के बारे में बहुत कुछ जानते है इसीलिए पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी उन्हें सीबीआई बचाने का प्रयास कर रही हैं।
घोष के हवाले से एक निजी टीवी चैनल ने कहा,“वह (राजीव) एक शैली में काम करता है …. मान लीजिए कि मैं कुछ दस्तावेज जमा करता हूं जिसमें कोई बड़ा नाम भी शामिल है, तो वह इसे किसी भी सूची में नहीं दिखाएगा। वह कार्रवाई नहीं करेगा। लेकिन वह व्यक्ति को फोन करके उससे पूछताछ जरूर करता है।” तृणमूल के पूर्व सांसद घोष को घोटाले में शामिल होने के आरोप में गिरफ्तार किया गया है। इससे पहले उनसे पूछताछ भी की गई थी।
भाजपा नेता और केंद्रीय कानून मंत्री रविशंकर प्रसाद ने कहा है, “संदिग्ध परिस्थितियां साबित करती हैं कि पुलिस आयुक्त बहुत कुछ जानता है और इसलिए उसे बचाया जा रहा है।” प्रसाद ने कहा कि बनर्जी ने 12 दिसंबर 2014 को खेल और परिवहन मंत्री और अपने विश्वासपात्र मदन मित्रा की गिरफ्तारी के इस संबंध में इसका विरोध नहीं किया था।मित्रा के अलावा पार्टी के लोकसभा में दल के नेता सुदीप बंदाेपाध्याय और पार्टी के सांसद तापस पाल की गिरफ्तारी के दौरान भी बनर्जी ने कोई हाय तौबा नहीं मचाया जैसा वह रविवार के दिन से अपनायी हुयी हैं।
भाजपा इस बात को लेकर भी आलोचना कर रही है कि एक सेवारत पुलिस अधिकारी और पुलिस आयुक्त राजीव कुमार कोलकाता में सुश्री ममता बनर्जी के साथ धरने पर बैठे थे। कोलकाता का पुलिस आयुक्त और सुश्री बनर्जी के ‘सबसे चहेते पुलिस अधिकारी’ राजीव कुमार इकलौता अधिकारी नहीं हैं जो शारदा चिट फंड घोटाले में फंसे हो।