नई दिल्ली। लोकसभा में इस बार पहले की तुलना में सबसे अधिक महिला सांसद दिखाई देंगी। सत्रहवीं लोकसभा के चुनाव में 78 महिलाएं निर्वाचित हुई हैं जो अब तक के चुनावों में सबसे अधिक है।
इस बार कुल 542 लोकसभा सीटों के लिए हुए चुनाव में 716 महिला प्रत्याशियों ने अपनी चुनावी किस्मत आजमायी थी जिनमें से 78 विजयी होने में कामयाब रही। वर्ष 2014 में हुए पिछले लोकसभा चुनाव में 62 महिलाएं निर्वाचित हुई थी।
महिला प्रतिनिधियोें की संख्या निचले सदन में धीरे धीरे बढ रही है। पहले लोकसभा चुनाव में पांच प्रतिशत महिला प्रतिनिधित्व था जो अब बढकर 14 प्रतिशत पर पहुंच गया है।
तृणमूल कांग्रेस ने इस चुनाव में सार्वाधिक 50 प्रतिशत महिलाओं को उम्मीदवार बना कर राजनीतिक दलों के समक्ष एक नया उदाहरण पेश किया।
इस बार चुनाव जीतने वाली प्रमुख उम्मीदवारों में संयुक्त प्रगतिशील गठबंधन की अध्यक्ष सोनिया गांधी, केन्द्रीय मंत्री मेनका गांधी, हरसिमरत कौर बादल, स्मृति ईरानी तथा अनुप्रिया पटेल, फिल्म अभिनेत्री हेमा मालिनी, भाजपा की प्रज्ञा ठाकुर, पूनम महाजन, किरण खेर, द्रमुक की कनिमोझी तथा कांग्रेस की परनीत कौर शामिल हैं।
देश के सबसे अधिक लोकसभा सीटों वाले राज्य उत्तर प्रदेश से 14 महिलाओं ने चुनाव लड़ा जिनमें से 11 विजयी हुई हैं। महाराष्ट्र से आठ महिलाएं लोकसभा पहुंची हैं।
पिछले लोकसभा चुनाव में 668 महिलाओं ने चुनाव लड़ा था जिनमें से 62 विजयी हुई थी। दूसरे लोकसभा चुनाव में 45 महिलाएं चुनाव मैदान ने उतरी थी जिनमें से 22 निर्वाचित हुई थी जबकि तीसरे चुनाव में 66 महिलाओं में से 31 विजयी रही थीं।
वर्ष 1967 में हुए चुनाव में 67 महिलाओं ने चुनाव लड़ा और 29 चुनी गई। वर्ष 1980 में 143 महिलाएं चुनाव मैदान में थी जिनमें से 28 ही निर्वाचित हो सकी थी। इसके बाद 1984-85 में हुए चुनाव में 171 महिलाओं ने चुनाव लड़ा था जिनमें से 43 निर्वाचित हुयी थी। इसके बाद के दो चुनावों में चुनाव लड़ने वाली महिलाओें की संख्या बढी लेकिन जितने में 29 और 38 महिलाएं ही कामयाब हुई।
वर्ष 1996 के आम चुनाप में 599 महिलाओं ने अपनी राजनीतिक किस्मत आजमाई जिनमें से 40 जीतने में सफल रही थी। इसके अगले चुनाव में 1998 में चुनावी किस्मत आजमाने वाली महिलाओं की संख्या में कमी आई और इस बार 274 ने ही चुनाव लड़ा जिनमें से 43 विजयी हुई।
वर्ष 1999 के चुनाव में 284 महिलाओं ने चुनाव लड़ा जिनमें से 49 निर्वाचित होने में सफल रही थी। इसी प्रकार 2004 में 355 महिलाओं ने चुनाव लड़ा और 45 विजयी हुई। वर्ष 2009 में 556 महिलाएं चुनाव मैदान में उतरी जिनमें से 59 संसद पहुंची।