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Sabarimala row : Normal life affected in Kerala due to state-wide bandh-सबरीमाला विवाद : केरल में हड़ताल से जनजीवन प्रभावित - Sabguru News
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सबरीमाला विवाद : केरल में हड़ताल से जनजीवन प्रभावित

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सबरीमाला विवाद : केरल में हड़ताल से जनजीवन प्रभावित

तिरुवनंतपुरम। केरल में सबरीमाला के निलक्कल में बुधवार को हुए पुलिस लाठी चार्ज के विरोध में ‘सबरीमाला कर्म समिति’ ने गुरुवार को सुबह से शाम तक की हड़ताल का आह्वान किया जिससे जनजीवन प्रभावित हुआ।

निलक्कल में प्रदर्शन करने वाले श्रद्धालुओं पर हुए लाठी चार्ज के खिलाफ विरोध करने वाली हड़ताल को भारतीय जनता पार्टी के नेतृत्व वाले राष्ट्रीय जनतांत्रिक, शिवसेना और अन्य हिंदू संगठनों का भी समर्थन मिला।

पुलिस ने बताया कि राज्य के कई हिस्सों में शुरुआती वक्त में केएसआरटीसी की बसों पर पथराव की घटना हुई। राज्य में कर्नाटक राज्य सड़क परिवहन निगम (केएसआरटीसी) की बसें और अन्य निजी वाहन सड़कों से नदारद रहे। कुछ जगहों पर हालांकि कई निजी वाहन चलते दिखाई दिए। दुकानें एवं व्यापारिक प्रतिष्ठान भी बंद रहे।

पार्टी की राज्य इकाई के अध्यक्ष पीएस श्रीधरन पिल्लई ने संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए निलक्कल में प्रदर्शन कर रहे श्रद्धालुओं पर पुलिस कार्रवाई की न्यायिक जांच की मांग की। उन्होंने कहा कि भारतीय जनता युवा मोर्चा के कार्यकर्ता निलक्कल में प्रतिबंधित आदेश का उल्लंघन करेंगे।

उन्होंने कहा कि भाजयुमो के 41 कार्यकर्ता इसके राज्य अध्यक्ष प्रकाश बाबू के नेतृत्व में पतनमथिट्टा जिला प्रशासन द्वारा सबरीमाला के चार जगहों में घोषित धारा 144 का उल्लंघन करेंगे। उनकी घोषणाओं के बाद प्रकाश बाबू के नेतृत्व में भाजयुमो के छह कार्यकर्ता निलक्कल में धरना प्रदर्शन किया, जिन्हें बाद में पुलिस ने गिरफ्तार किया।

आंदोलन और विरोध प्रदर्शन कर रहे युवा मोर्चा के कार्यकर्ताओं ने जोरदार नारे लगाए और कहा कि (उच्चतम न्यायालय के आदेश का) उल्लंघन आज और कल दोनों दिन जारी रहेगा तथा 10-50 वर्ष की आयु की किसी भी श्रद्धालु महिला को सबरीमाला सन्निधानम में प्रवेश नहीं करने दिया जाएगा।

भाजपा के राज्यसभा सांसद राजीव चंद्रशेखर ने बेंगलुरु में सभी उम्र की महिलाओं काे मंदिर में प्रवेश की इजाजत देने के आदेश की पृष्ठभूमि में केरल के सबरीमाला मंदिर के कपाट बुधवार को खोले जाने के बाद हुई हिंसा की घटनाओं पर खेद व्यक्त किया है।

उन्होंने ट्वीट कर कहा कि सबरीमाला परंपरा को पितृसत्तात्मक कहना गलत और खतरनाक है। सबरीमाला भेदभाव का नहीं बल्कि कई अयप्पा भक्तों के विश्वास और परंपरा का मुद्दा है। इसे संवेदनशीलता के साथ संभाला जाना चाहिए।

पतनमथिट्टा जिले में स्थित पहाड़ी मंदिर के रास्ते में पड़ने वाले पंबा, निलक्कल और एरुमेली सहित विभिन्न स्थानों पर सुरक्षा व्यवस्था और पुलिस की गश्त कड़ी की गई है। जिला प्रशासन ने बुधवार से अगले दो दिनों के लिए चार स्थानों पर एलावुंकल, निलक्कल, पंबा और सनीदानम में प्रतिबंधात्मक आदेश लागू किया है।