क्रिकेट के सबसे महान बल्लेबाजों में शुमार पूर्व भारतीय बल्लेबाज सचिन तेंदुलकर को इतिहास का काफी बड़ा है। उन्होंने क्रिकेट का वो मुकाम हासिल किया जो कई दिग्गज बल्लेबाज सपने देखते है। सचिन के नाम इंटरनेशनल क्रिकेट में 100 शतकों का रिकॉर्ड है। आज तक कोई बल्लेबाज उनके इस रिकॉर्ड के आसपास नहीं पहुंच पाया। लेकिन सचिन को शुरुआती करियर के दौरान काफी कड़े निर्णय लेने पड़े थे। इसी वजह से आज वह इतने सफल बल्लेबाज है।
सचिन को ओपनिंग के लिए कोच और कप्तान से मिन्नतें मांगनी पड़ी थी। जी हाँ, सचिन ने साल 1994 में न्यूजीलैंड के खिलाफ पहली बार ओपनर बल्लेबाज के रूप में खेले। तब टीम के कप्तान अजहरुद्दीन और कोच अजीत वाडेकर थे। सचिन ने वाडेकर से कहा था कि उन्हें ओपनिंग करने का मौका दिया जाए। अगर वे नाकाम रहे तो फिर दोबारा ओपनिंग करने की बात नहीं करेंगे।
सचिन ने इस मैच में नवजोत सिंह सिद्धू की जगह ओपनिंग की थी। सिद्धू चोट की वजह से नहीं खेल पाए थे। इससे टीम में एक ही स्पेशलिस्ट ओपनर अजय जडेजा बचे थे। ऐसे में टीम में कोई दूसरा विकल्प नहीं बचा था। इस मैच में सचिन तेंदुलकर, जडेजा के साथ ही ओपनिंग करने उतरे थे। बतौर ओपनर अपने पहले मैच में उन्होंने 49 गेंदों पर 82 रन बनाए थे। इसके बाद कोई कप्तान और कोच उन्हें ओपनर बल्लेबाज तौर हटा नहीं सका। इस मैच में उन्होंने साबित कर दिया कि वह ओपनिंग के लिए बेस्ट है।