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हवा की लहरें बनके मेरी खिड़की मत खटखटा, मैें बंद खिड़की में बवंडर संभाल के बैठा हूँ
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हवा की लहरें बनके मेरी खिड़की मत खटखटा, मैें बंद खिड़की में बवंडर संभाल के बैठा हूँ

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हवा की लहरें बनके मेरी खिड़की मत खटखटा, मैें बंद खिड़की में बवंडर संभाल के बैठा हूँ

शायर घर मे पत्नी के साथ बैठा है,
तभी प्रेमिका का मिसकॉल आता हैं..

शायर का प्रेमिका को शायरी में जवाब:

हवा की लहरें बनके मेरी खिड़की मत खटखटा,
मैें बंद खिड़की में बवंडर संभाल के बैठा हूँ
#घरवाली-बाहरवाली


पत्नी:
सुनते हो जी, ये मिर्ची
किस मौसम में लगती है?

पति:
कोई खास मौसम नहीं है,
जब सच बात बोलो तभी लग जाती है…!


  1. पति पत्नी मंदिर मे पूजा करने गये,
    पति: तुमने क्या माँगा?
    पत्नी: कि आप और मैं सात जन्म तक साथ रहें
    और तुमने क्या माँगा?
    पति: भगवान करे ये मेरा सातवाँ जन्म हो…