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सावित्रीबाई फूले महिलाओं के लिए मिसाल : शकुंतला रावत - Sabguru News
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सावित्रीबाई फूले महिलाओं के लिए मिसाल : शकुंतला रावत

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सावित्रीबाई फूले महिलाओं के लिए मिसाल : शकुंतला रावत

अजमेर में सावित्रीबाई फूले जयंती धूमधाम से मनाई

अजमेर। सावित्रीबाई फुले जागृति मंच की ओर से सोमवार को सावित्रीबाई फुले की 191वीं जयंती नसीराबाद रोड स्थित मनुहार गार्डन में ‘स्वावलंबी बनो’ समारोह का आयोजन कर धूमधाम से मनाई गई। इससे पहले फूलों से सजाए गए ज्योतिबा फूले स्मारक पर पुष्पांजलि कार्यक्रम रखा गया।

इस मौके पर मुख्य अतिथि उद्योग, वाणिज्य एवं देवस्थान मंत्री शकुंतला रावत ने कहा कि 19वीं सदी में जब देश में राजनीतिक गुलामी के साथ-साथ सामाजिक गुलामी का भी दौर था, तब सावित्री बाई फूले ने शिक्षा के महत्व को जाना, समझा और महिलाओं के बीच शिक्षा की अलख जगाई।

सावित्री बाई फुले ने अपने पति दलित चिंतक व समाज सुधारक ज्योतिराव फुले से पढ़कर सामाजिक चेतना फैलाई। देश की प्रथम महिला शिक्षिका सावित्री बाई फुले एक मिसाल, प्रमाण और प्रेरणा हैं। सावित्रीबाई फूले की शादी बाल्यकाल में ही हो गई थी, इसके बाद शिक्षा प्राप्ति को लेकर ससुराल में सहयोग ना मिलने के बाद संघर्षपूर्ण जीवन जीते हुए पति के कंधे से कंधा मिलाते हुए न केवल खुद शिक्षा ग्रहण की बल्कि भारत की पहली महिला शिक्षिका होने का गौरव भी हासिल किया। उन्हीं की प्रेरणा है जिसकी बदौलत देश की आधी आबादी महिलाएं शिक्षा के माध्यम से मुख्यधारा में आ खड़ी हुई हैं। उन्होंने कहा कि महिलाओं के शिक्षित एवं स्वाबलंबी होने से समाज जिला प्रदेश एवं देश की उन्नति होती है। उन्होंने सभी समाज सेवी संस्थाओं से महिला उत्थान के लिए कार्य करने की अपील की।

रावत ने कहा कि गृहस्थी चलाना कोई सरल काम नहीं है, लेकिन सिर्फ अपने को एक सीमित दायरे में समेट लेना महिलाओं के लिए कतई उचित नहीं। सावित्रीबाई फूले महिलाओं के लिए मिसाल हैं। चुनौतियों से पार करने के लिए उनका स्मरण हमें मार्गदर्शन देता है। देश की आजादी के बाद बडा बदलाव आया है। महिलाओं का शिक्षा और राजनीति में ताकत बढी है। मेरे जैसी सामान्य महिला को भी मंत्री पद का दायित्व मिला है। उन्होंने कहा कि राजस्थान सरकार महिलाओं के उत्थान के लिए कई कल्याणकारी योजनाओं को लागू कर रखा है उन्हें समाज के अंतिम छोर तक बैठी महिलाओं तक पहुंचाना हमारा मौलिक दायित्व है।

राजस्थान प्रदेश कांग्रेस कमेटी की प्रदेश उपाध्यक्ष एवं पूर्व शिक्षा राज्यमंत्री नसीम अख्तर इंसाफ ने कहा कि सावित्रीबाई फुले ने समाज के उत्थान के लिए कई महत्वपूर्ण कार्य किए थे हमें उनके बताएं मार्ग पर चलकर महिला उत्थान के लिए कार्य करना चाहिए।

इस मौके पर ताराचंद गहलोत ने कहा कि सावित्री बाई फूले सिर्फ माली समाज ही नहीं बल्कि समूची पिछडी जाती और दलित वर्ग की महिला आबादी की प्रेरणास्त्रोत रही हैं। शिक्षा के क्षेत्र में उनके अतुलनीय योगदान सदैव याद रखे जाएंगे। उन्होंने परमार्थ के काम में अपना संपूर्ण जीवन खपा दिया।

इस अवसर पर एडवोकेट बबीता टांक ने कहा कि सावित्री बाई फूले के दलित वर्ग के लिए किए गए योगदान को चिरस्थायी बनाने के लिए शिक्षा नगरी अजमेर में सावित्री बाई फुले के नाम पर किसी एक सडक, स्कूल अथवा कालेज के नामकरण तथा प्रतिमा लगाए जाने की साथ ही फूले दंपती को भारत रत्न से नवाजे जाने की मांग संस्था पुरजोर तरीके से उठाती रही है। अब समय आ गया है कि सरकार इस मांग को पूरा करे।

समारोह को ज्योतिबा फूले राष्ट्रीय जागृति मंच के राष्ट्रीय संयोजक मोती सिंह सांखला, राजस्थान प्रदेश माली महासभा के छुट्टनलाल सैनी, राजस्थान प्रदेश कांग्रेस कमेटी ओबीसी विभाग के प्रदेश संयोजक राजेंद्र सेन, माली महासभा के प्रदेश अध्यक्ष छुट्टन लाल सैनी, नगर निगम अजमेर के पूर्व महापौर धर्मेंद्र गहलोत, अजमेर शहर जिला कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष विजय जैन, अजय सैनी, सौरव बजाड, राजेश टाक आदि ने भी संबोधित किया। मंच संचालन ममता चौहान ने किया। समारोह के अंत में संस्था अध्यक्ष सुनीता चौहान ने सभी आगंतुक अतिथियों और गणमान्यजनों का आभार व्यक्त किया।

जरूरतमंद महिलाओं को सिलाई मशीन वितरित

स्वावलंबी बनो समारोह के दौरान मंत्री शकुंतला रावत की मौजूदगी में जरूरतमंद महिलाओं को सिलाई मशीन वितरित की गई। ऐसी महिलाएं सिलाई कार्य के जरिए घर पर काम कर स्वावलंबी बन सकेंगी। परिवार का गुजरबसर चलाने में उन्हें सहायता मिलेगी।

माली समाज की इन प्रतिभाओं को मिला सम्मान

समारोह के दौरान नीट परीक्षा में देशभर में 37वीं रैंक हासिल करने वाली शिवानी सैनी तथा एमए परीक्षा में 95 प्रतिशत अंक हासिल करने वाली छात्रा साक्षी बागडी को स्मृति चिन्ह प्रदान कर सम्मानित किया गया। इसी तरह अतिरिक्त प्रशासनिक अधिकारी सतीश कुमार सैनी को सरकारी सेवा में रहते हुए विशिष्ट उपब्धियों तथा संस्था की ओर से आयोजित चिकित्सा शिविरों में निशुल्क सहयोग प्रदान करने के लिए डाक्टर पिंकी माथुर तथा कोरोना काल में गढी मालियान स्थित श्मशानगृह में अतिविशिष्ट सेवा देने वाले समाजसेवी नेमीचंद बबेरवाल को संस्था ने सम्मान प्रदान किया।

समारोह में ये गणमान्यजन रहे उपस्थित

इस अवसर पर समाजसेवी तिलोकचंद इंदौरा, रजनीश चौहान, दिलावर चौहान, घीसू गढ़वाल, महेश चौहान, हेमराज सिसोदिया, संदीप तंवर, राजू सांखला, चेतन सैनी, रामू वशिष्ठ, सुमन भाटी, नवीन कच्छावा, सेवाराम चौहान, सुषमा तंवर, ओमा मालाकार, सरिता चौहान, रामकन्या गहलोत, नीतू गहलोत, आशा सांखला, बबीता मौर्य, बीना सांखला, बीना टांक, इंदू अजमेरा, मंजू अजमेरा, रेखा सैनी, रेखा चौहान, रेखा गहलोत, कविता कच्छावा, रजनी कच्छावा, ममता पालरिया, सुशीला चौहान, रेखा चौहान, विजयलक्ष्मी सिसोदिया, गायत्री सांखला, भावना चौहान, पार्षद लक्ष्मी बुंदेल, श्याम प्रजापति, बीना टांक, सैयद फैसल, भरत जाटव, हेमंत जोधा, मनीष सेठी, हेमेन्द्र सिंगोदिया आदि उपस्थित थे।