नई दिल्ली। उच्चतम न्यायालय इस कानूनी बिंदु पर विचार करने को तैयार हो गया है कि क्या सोने की तस्करी के मामले में गैर कानूनी गतिविधि निरोधक कानून (यूएपीए) लग सकता है?
मुख्य न्यायाधीश एनवी रमन, न्यायमूर्ति एएस बोपन्ना और न्यायमूर्ति हृषिकेश रॉय की खंडपीठ ने राष्ट्रीय जांच एजेंसी की अपील की सुनवाई के दौरान कहा कि वह इस कानूनी पहलू पर विचार करेगा कि क्या सोने की तस्करी मामले को यूएपीए के दायरे में रखा जा सकता है।
वास्तव में केरल उच्च न्यायालय ने इसे लेकर अलग फैसला दिया है। दरअसल, एनआईए ने शीर्ष अदालत का दरवाजा खटखटाते हुए तस्करी के एक मामले में केरल उच्च न्यायालय द्वारा 12 आरोपियों को दी गई जमानत रद्द करने की मांग की थी। पिछले साल पांच जुलाई को तिरुवनंतपुरम हवाईअड्डे पर 14.82 करोड़ रुपए मूल्य का 30 किलो सोना कस्टम विभाग ने जब्त किया था।