गांधीनगर। गुजरात में मुख्य विपक्षी दल कांग्रेस के कुछ विधायकों के पार्टी छोड़ने के कुछ समय से जारी अटकलों के बीच लगातार आज दो पार्टी विधायकों ने इस्तीफा दे दिया।
तीन बार से जूनागढ़ जिले के माणावदर सीट के विधायक रहे अहिर समुदाय के दिग्गज नेता जवाहर चावड़ा ने पार्टी तथा विधानसभा से इस्तीफा दे दिया और सत्तारूढ़ भाजपा में शामिल हो गए। जबकि शाम को सुरेन्द्रनगर जिले के ध्रांगध्रा सीट के विधायक कोली समुदाय के परसोत्तम साबरिया ने भी अचानक इस्तीफा दे दिया। उन्होंने भी इस्तीफा देने के बाद भाजपा में शामिल होने की बात कही।
ज्ञातव्य है कि साबरिया लघु सिंचाई विभाग के एक घोटाले के आरोपी है और हाल में इस मामले में जेल में भी थे। उन्होंने कहा कि वह बेहतर ढंग से विकास के काम से जुड़ने के लिए कांग्रेस से अलग हो रहे हैं।
इससे पहले 54 वर्षीय चावड़ा ने यहां भाजपा के प्रदेश मुख्यालय पर भगवा अंगवस्त्र धारण करने के बाद पत्रकारों से कहा कि उन्होंने कांग्रेस के प्रदेश उपाध्यक्ष पद और प्राथमिक सदस्यता से अपना इस्तीफा पार्टी अध्यक्ष राहुल गांधी को ईमेल के जरिये भेज दिया है। उन्हें कांग्रेस में कोई परेशानी नहीं थी पर वह जनता की बेहतर ढंग से सेवा के लिए सत्तारूढ़ दल में आना चाहते थे।
चूंकि वह 30 साल से कांग्रेस में थे और इसी के टिकट पर पिछला चुनाव जीते थे इसलिए उन्होंने विधानसभा से भी त्यागपत्र दे दिया है। उन्होंने किसी पार्टी से कोई द्रोह नहीं किया। अभी देश की जो स्थिति है उसमें गुजरात के प्रिय बेटे नरेन्द्र मोदी का हाथ मजबूत करना जरूरी है। भाजपा उनके लिए जो भी फैसला लेगी वह उन्हें मंजूर होगा।
हालांकि जब उनसे यह पूछा गया कि किसी तरह का असंतोष नहीं होने पर भी उन्होंने पार्टी क्यो छोड़ दी तो वह यह कहकर फंसते हुए दिखे कि मजा नहीं आने के कारण और जैसे लोग बिना किसी कारण खाने के होटल बदलते हैं ऐसे उन्होंने पार्टी बदली है।
हालांकि वहां मौजूद राज्य सरकार के मंत्री प्रदीप जाडेजा ने बात का संभाला और कहा कि उनका आशय जनता की बेहतर सेवा करना भर है। जाडेजा के अलावा वहां मौजूद पार्टी के प्रदेश महासचिव केसी पटेल, एक अन्य मंत्री जयेश रादडिया और पूर्व मंत्री मुलू बेरा ने चावड़ा को भाजपा का भगवा अंगवस्त्र पहनाया।
ज्ञातव्य है कि चावड़ा तथा पूर्व में विधायक रहे उनके पिता पेथलजी चावड़ा को मूल कांग्रेसियों में शुमार किया जाता रहा है। उन्होंने आज दोपहर अचानक विधानसभा अध्यक्ष राजेन्द्र त्रिवेदी से उनके आवास पर मुलाकात कर अपना इस्तीफा सौंप दिया। उन्होंने त्यागपत्र में इस्तीफे के लिए कोई कारण नहीं बताया।
समझा जाता है कि चावड़ा को जल्द ही राज्य मंत्रिमंडल में शामिल किया जा सकता है। साल 2017 के उत्तरार्द्ध में हुए विधानसभा चुनाव में 182 सदस्यीय विधानसभा में कांग्रेस को 77 सीटें मिली थी। अब तक इसके चार विधायक, कुंवरजी बावलिया, आशाबेन पटेल, चावड़ा और साबरिया त्यागपत्र दे चुके हैं जबकि एक विधायक भगवान बारड को खनिज चोरी के एक मामले में सजा होने के बाद सदन से अयोग्य ठहरा दिया गया है। अब पार्टी विधायकों की संख्या घट कर 72 रह गई है। भाजपा के 100 विधायक हैं।
राज्य में कांग्रेस विधायक अल्पेश ठाकाेर समेत कई पार्टी विधायकों के पार्टी छोड़ने की अटकलें भी पिछले कुछ समय से तेज है। ठाकोर ने आज दिल्ली में वरिष्ठ कांग्रेस नेता अहमद पटेल और पार्टी के गुजरात प्रभारी राजीव सातव से मुलाकात भी की है। यहां लौटने के बाद आज शाम उन्होंने पत्रकारों से कहा कि वह कल अपनी बात विस्तार से रखेंगे।
सबसे पहले कांग्रेस छोड कर भाजपा में शामिल हुए बावलिया ने इस बीच दावा किया है कि पार्टी के चार से पांच और विधायक जल्द ही पार्टी छोड़ेंगे। पार्टी के भीतर असंतोष है तथा वरिष्ठ विधायकों को उचित सम्मान नहीं मिल रहा है। उधर, कांग्रेस के वरिष्ठ विधायक और सदन में उपनेता शैलेश परमार ने कहा कि कांग्रेस छोड़ने वाले नेता मंत्री पद और पैसे आदि के लालच में ऐसा कर रहे हैं।