बूंदी। राजस्थान में बूंदी की एक अदालत ने आज नाबालिग से दुष्कर्म कर उसकी हत्या करने के एक बहुचर्चित मामले में दो आरोपियों को फांसी की सजा सुनाई।
बूंदी की पॉक्सो न्यायालय में चार माह पुराने इस मामले में पेश अभियोग पत्र में कहा गया है कि आरोपियों सुल्तानपुर (27), छोटू लाल (62) और एक नाबालिग ने बूंदी जिले के बसौली थाना क्षेत्र के काला कुआं गांव के पास 30 दिसंबर 2021 को एक 17 वर्षीय किशोरी की उस समय सामूहिक बलात्कार करने के बाद हत्या कर दी थी जब वह बकरियां चराने जंगल में गई थी।
दुष्कर्मी बलात्कारी इस कदर हैवानियत पर उतर आए थे कि चुन्नी से गला दबाकर किशोरी की हत्या करने के बाद भी वह उसके शव को नौचते रहे थे और दुष्कर्म करते रहे। बाद में फरार हो गए।
किशोरी का शव बरामद होने के बाद बूंदी जिला पुलिस ने इस मामले को गंभीरता से लेते हुए जिले के 10 थाना क्षेत्र की पुलिस को आरोपी की गिरफ्तारी के लिए लगाया और इसके लिए व्यापक अभियान छेड़ा गया घटना के 12 घंटे बाद ही नाबालिग सहित तीनों आरोपियों को गिरफ्तार करने में पुलिस को सफलता मिल गई।
इस घटना को लेकर समूचे बूंदी जिले में गहरे जनाक्रोश को देखते हुए इस मामले को एक ऑफिसर स्कीम के तहत लेकर जांच की और दोनों आरोपी सुल्तान एवं और छोटू लाल के खिलाफ बूंदी की पोक्सो कोर्ट में जबकि नाबालिग के खिलाफ बाल अपचारी अदालत (जेजे कोर्ट) में अभियोग पत्र पेश किया।
बाल अपचारी अदालत में यह मामला अभी लंबित है लेकिन पॉक्सो कोर्ट के न्यायाधीश बालकृष्ण मिश्र ने इस मामले में करीब 100 पेज के आरोप पत्र पर त्वरित सुनवाई की एवं इसी सप्ताह के शुरू में दोनों आरोपियों को दोषी करार पाते हुए सजा को लंबित रखा।
न्यायालय ने आज दोनों आरोपियों को मौत की सजा सुनाई। उन पर 1.20 लाख रुपए का जुर्माना भी लगाया गया है। विशेष लोक अभियोजक महावीर सिंह का दावा है कि यह देश का पहला ऐसा मामला है जिसमें पॉक्सो कोर्ट ने एक ही केस में दो आरोपियों को मृत्युदंड की सजा से दंडित किया है।